महाराष्ट्र सरकार ने बालासाहेब ठाकरे नेशनल मेमोरियल पब्लिक ट्रस्ट को फिर से गठित किया है। इसमें शिवसेना (UBT) के प्रमुख उद्धव ठाकरे को एक बार फिर चेयरमैन बनाया गया है। सरकार ने नई नियुक्तियों को सार्वजनिक किया है और एक अधिसूचना भी जारी की है। उद्धव ठाकरे को पांच साल का कार्यकाल मिला है। यह ट्रस्ट उनके पिता बालासाहेब ठाकरे के स्मारक की देखरेख करता है।
 
उद्धव के साथ उनके बेटे आदित्य ठाकरे और शिवसेना (UBT) के वरिष्ठ नेता सुभाष देसाई को भी ट्रस्ट में पांच साल के लिए सदस्य बनाया गया है। पूर्व विधायक शिशिर शिंदे और विधायक पराग अलवणी तीन साल के लिए सदस्य रहेंगे। शिशिर शिंदे का भी नाम इस लिस्ट में शामिल है। वह उद्धव ठाकरे के पुराने सहयोगी रहे हैं।

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देवेंद्र फडणवीस सरकार ने ऐसा क्यों किया?

मुंबई के शिवाजी पार्क में मेयर बंगले की जगह पर बालासाहेब ठाकरे का स्मारक बन रहा है। बालासाहेब ठाकरे नेशनल मेमोरियल पब्लिक ट्रस्ट की देखरेख में इसे बनाया जाएगा। महाराष्ट्र में निकाय चुनाव होने वाले हैं। बाल ठाकरे को लेकर महाराष्ट्र के शहरी इलाकों में संवेदना है। यह चर्चा भी है कि बीजेपी इससे मराठी वोटरों को साधने की कोशिश कर रही है। 

शिवसैनिक, मु्ंबई में खासे सक्रिय हैं।

भारतीय जनता पार्टी सरकार, जिस गठबंधन की मदद से राज्य की सत्ता में है, उसमें शिवसेना (शिंदे गुट) अहम सहयोगी है। एक धड़ा अब भी है, जो यह मानता है कि बाल ठाकरे के असली वारिस उद्धव ठाकरे भी हैं। जानकारों का कहना है कि इससे बीजेपी को निकाय चुनावों में फायदा हो सकता है। 

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ट्रस्ट में कौन-कौन शामिल है?

  • उद्धव ठाकरे: अध्यक्ष
  • आदित्य ठाकरे: सदस्य
  • सुभाष देसाई: सदस्य
  • पराग अलवानी: सदस्य
  • शिशिर शिंदे
  • मुख्य सचिव, महाराष्ट्र
  • प्रधान सचिव, महाराष्ट्र
  • प्रधान सचिव, नगर विकास, नवी-2
  • प्रधान सचिव, विधि-न्याय विभाग
  • कमिश्नर, बीएमसी
  • पदेन सदस्य: 2

क्या है बालासाहेब ठाकरे नेशनल मेमोरियल पब्लिक ट्रस्ट?

यह पब्लिक ट्रस्ट 2016 में बना था। इसमें कुल 11 सदस्य हैं। उद्धव पहले चेयरमैन थे। 2019 में उनका कार्यकाल खत्म होने पर उन्होंने पद छोड़ दिया था। इसके बाद आदित्य ठाकरे कुछ वक्त के लिए चेयरमैन बने। कार्यकाल मार्च 2025 में ही खत्म हो गया। अब नई नियुक्तियां की गईं हैं।