संभल की जामा मस्जिद की सर्वे रिपोर्ट गुरुवार को दाखिल हो गई। कोर्ट कमिश्नर ने चंदौसी कोर्ट में 45 पन्नों की रिपोर्ट सीलबंद लिफाफे में जमा कर दी। कोर्ट के आदेश पर पिछले साल नवंबर में बीच शाही जामा मस्जिद का सर्वे हुआ था। 

कोर्ट कमिश्नर ने क्या बताया?

कोर्ट कमिश्नर रमेश सिंह राघव ने 2 जनवरी को शाही जामा मस्जिद की सर्वे रिपोर्ट अदालत में जमा कर दी। उन्होंने बताया कि अदालत के आदेश के अनुसार यहां का सर्वे किया गया था और वीडियोग्राफी समेत पूरी सर्वे रिपोर्ट सिविल जज सीनियर डिविजन को सौंप दी गई। सुप्रीम कोर्ट ने सर्वे रिपोर्ट को सीलबंद लिफाफे में सौंपने का आदेश दिया था। 

सर्वे रिपोर्ट में क्या है?

इस सर्वे रिपोर्ट में क्या सामने आया, इसे लेकर आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा जा सकता। हालांकि, मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो सर्वे के दौरान मस्जिद के अंदर से हिंदू धर्म से जुड़े 50 से ज्यादा फूल के निशान या कलाकृतियां मिली हैं। मस्जिद के अंदर बरगद के दो पेड़ भी मौजूद हैं। एक कुआं भी अंदर मिला है। मीडिया रिपोर्ट्स में ये भी कहा जा रहा है कि पुराने ढांचे को बदला गया है। मंदिर की आकृति वाले ढांचों को प्लास्टर लगाकर बदला गया है। दरवाजों पर भी प्लास्टर लगाकर पेंट किया गया है। 

क्या है पूरा मामला?

पिछले साल 19 नवंबर को संभल की निचली अदालत में शाही जामा मस्जिद के हरिहर मंदिर होने का दावा करते हुए हिंदू पक्ष ने याचिका दायर की थी। हिंदू पक्ष ने यहां हरिहर मंदिर होने का दावा किया था और सर्वे कराने की मांग की थी। हिंदू पक्ष की याचिका पर उसी दिन निचली अदालत ने सर्वे का आदेश दिया। अदालत के आदेश पर कोर्ट कमिश्नर रमेश सिंह राघव ने यहां का सर्वे किया। 19 नवंबर को यहां पहला सर्वे हुआ था। 24 नवंबर को जब यहां दूसरा सर्वे हुआ तो हिंसा भड़क गई। इस हिंसा में 5 लोगों की मौत हो गई थी।