झारखंड में एक चरण का चुनाव खत्म हो चुका है और दूसरे चरण का चुनाव 20 नवंबर को होने वाला है। बीजेपी और जेएमएम चुनाव प्रचार में जुटी हैं और एक दूसरे के खिलाफ खुल कर बोल रही हैं। ऐसे में झारखंड पुलिस ने फेसबुक और इंस्टाग्राम पर चल रहे दो अकाउंट के खिलाफ तीन एफआईआर दर्ज की हैं, जिन पर आरोप है कि ये अकाउंट्स “विपक्षी दलों और उनके उम्मीदवारों के इशारे पर सीधा कैंपेन” चला रहे थे ताकि “लोगों के मन में झामुमो और (मुख्यमंत्री) हेमंत सोरेन के प्रति शत्रुता और नफरत की भावनाओं को बढ़ावा दिया जा सके”।
इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक पुलिस ने इन “शैडो अकाउंट्स” के पोस्ट हटाने के लिए फेसबुक इन्स्टाग्राम की पैरेंट कंपनी मेटा को अनुरोध करते हुए पत्र भेजा है. शैडो अकाउंट्स उन अकाउंट्स को कहते हैं जिनके स्वामित्व और फंडिंग का खुलासा नहीं किया गया होता है और कथित तौर पर जिन अकाउंट्स को राजनीतिक परिणामों को प्रभावित करने के लिए बनाया गया होता है। पुलिस ने इन अकाउंट को चलाने वालों का विवरण भी कंपनी से मांगा है।
कई धाराओं में दर्ज हुई FIR
'रांची चौपाल' नाम के पेज के खिलाफ 8 नवंबर को रांची जिले के गोंडा और रातू पुलिस स्टेशनों में दो मामले दर्ज किए गए थे और बुधवार को रांची के साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन में 'झारखंड चौपाल' पेज के खिलाफ एक नया मामला दर्ज किया गया।
एफआईआर में भारतीय न्याय संहिता की धारा 175 (चुनाव से जुड़े झूठे बयान) और 336 (2) (4) (जालसाजी) के साथ-साथ आईटी एक्ट की धारा 66 (सी) और (डी) के तहत दर्ज की गई थी जो पहचान छिपाने और धोखाधड़ी के साथ-साथ जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के प्रावधानों से संबंधित है।
JMM ने चुनाव अधिकारी को लिखा पत्र
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के महासचिव विनोद पाण्डेय ने सोशल मीडिया अकाउंट्स के बारे में राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी (CEO) को पत्र लिखकर आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप लगाया था। जवाब में, झारखंड के CEO के रवि कुमार ने 11 नवंबर को एक पत्र लिखा जिसमें कहा गया कि राज्य पुलिस के साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन ने मेटा से इन पेजों के एडमिनिस्ट्रेटर का विवरण मांगा है और उनके पोस्ट को हटाने के लिए कहा है।
यह सब कुछ ऐसे समय में हो रहा है जब झारखंड में विधानसभा चुनाव हो रहे हैं. अभी पहले चरण का चुनाव हो चुका है और दूसरे चरण का चुनाव 20 नवंबर को होने वाला है।
करोड़ों रुपये खर्च किए जाने का है आरोप
सीएम हेमंत सोरेन ने बुधवार को बीजेपी पर फेसबुक विज्ञापनों के ज़रिए उनकी छवि को खराब करने के लिए करोड़ों रुपये खर्च करने का आरोप लगाया था। झारखंड मुक्ति मोर्चा के सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर लिखा गया था कि झारखंड चौपाल नामक पेज ने हिंदू-मुसलमान में नफरत फैलाने में 54 लाख रुपये खर्च कर दिए। सीधा-सीधा कैंपेन किया जा रहा है और अब तक करोड़ों रुपये इस पेज द्वारा खर्च किए जा चुके हैं।
आरोपों को खारिज करते हुए भाजपा ने कहा है कि वह सोरेन सरकार की आलोचना करने वाले सभी प्लेटफॉर्म्स को नियंत्रित नहीं करती है। हाल ही में दर्ज की गई एफआईआर में कई पोस्ट का हवाला दिया गया है, जिसमें 4 नवंबर को की गई एक पोस्ट भी शामिल है, जिसमें कथित तौर पर दावा किया गया था कि सोरेन राज्य में "लव जिहाद का प्रचार" करने के लिए जिम्मेदार हैं।
रांची चौपाल के खिलाफ दर्ज एफआईआर में कहा गया है कि 3 नवंबर को रांची से जेएमएम उम्मीदवार महुआ मांझी की एक तस्वीर शेयर की गई थी, जिसमें उन्हें "बांग्लादेशी कहा गया था जो आतंकवाद का समर्थन करती है और विभाजनकारी राजनीति करती है"।
राज्य में साइबर अपराध को देखने वाले अपराध जांच विभाग के सूत्रों ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया, "हमने मेटा को अनुरोध भेजा है, जिसमें संबंधित फेसबुक अकाउंट और पंजीकृत मोबाइल नंबर के लॉगिन-लॉगआउट उपयोग-विशिष्ट आईपी पते के विवरण के साथ-साथ अन्य विवरण मांगे गए हैं। उन्होंने अभी तक अकाउंट रिकॉर्ड, ब्लॉकिंग और पोस्ट हटाने के अनुरोधों का जवाब नहीं दिया है। इसमें कुछ समय लगेगा।"