अमेरिका में शटडाउन खत्म हो गया है। यह अमेरिकी इतिहास का सबसे लंबा शटडाउन था, जो 43 दिन चला। अमेरिका में 1 अक्टूबर से शटडाउन था। गुरुवार को अमेरिकी संसद ने शटडाउन खत्म करने से जुड़ा बिल पास कर दिया। इस बिल पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भी दस्तखत कर दिए हैं। इस तरह से शटडाउन अब खत्म हो गया है और अमेरिका में फिर से पहले की तरह ही कामकाज शुरू हो जाएगा।


ट्रंप ने शटडाउन खत्म करने से जुड़े बिल पर साइन करते हुए कहा कि यह पूरी तरह से 'राजनीतिक कारणों' से हुआ था। उन्होंने कहा कि शटडाउन से लोगों को बहुत नुकसान हुआ। 


उन्होंने कहा, 'शटडाउन के कारण 20 हजार से ज्यादा उड़ानें या तो रद्द हो गईं या देरी से उड़ीं। लाखों कर्मचारियों को छुट्टी पर भेज दिया गया या उन्हें सैलरी नहीं मिली।' उन्होंने फंडिंग की कमी पर कहा, 'ऐसा पहले कभी किसी ने नहीं देखा।'

 

यह भी पढ़ें-- 'मुंबई जैसा बन जाएगा न्यूयॉर्क', जोहरान ममदानी के किस प्लान पर ऐसा बोले अरबपति?

6 डेमोक्रेट सांसदों ने भी समर्थन में किया वोट

अमेरिकी संसद के निचले सदन हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स में इस बिल को पेश किया गया था। इस बिल के समर्थन में 222 और विरोध में 209 वोट पड़े। 


बिल के समर्थन में 6 डेमोक्रेट सांसदों ने भी वोट किया। डेमोक्रेट के जिन सांसदों ने बिल के समर्थन में वोट किया उनमें जेयर्ड गोल्डन, एडम ग्रे, मारी ग्लूजेनकेंप, डॉन डेविस, हेनरी क्यूलर और टॉम सुओजी शामिल हैं।


बिल पास होने के बाद हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स के स्पीकर माइक जॉनसन ने कहा, 'आज रात हमें बहुत राहत महसूस हो रही है। डेमोक्रेटिक शटडाउन आखिरकार खत्म हो गया।' उन्होने आगे कहा, 'शटडाउन से कभी भी अच्छे नतीजे नहीं आते। लाखों परिवारों के पास खाने को कुछ नहीं बचा। यह लोगों की जिंदगी के साथ खेला गया एक खेल था।'

 

 

वहीं, ट्रंप ने इसे लेकर डेमोक्रेट को घेरा है। जब शटडाउन खत्म करने के बिल पर ट्रंप ने साइन किया तो उन्होंने कहा कि 2026 के मिड-टर्म इलेक्शन में वोटर्स इसे याद रखें। 


ट्रंप ने कहा, 'मैं बस अमेरिकी लोगों से कहना चाहता हूं कि मिड-टर्म इलेक्शन के समय आपको यह भूलना नहीं चाहिए। डेमोक्रेट्स लाखों अमेरिकियों के कष्ट सहने से खुश थे।'

 

यह भी पढ़ें-- न्यूयॉर्क में उतरेगी अमेरिकी फौज? जोहरान ममदानी और ट्रंप की तनातनी की कहानी

 

शटडाउन खत्म होने का मतलब क्या?

शटडाउन खत्म होने से अमेरिकियों को बड़ी राहत मिली है। 43 दिन से जो सरकारी कामकाज ठप पड़ा था, वह अब पटरी पर लौट जाएगा। व्हाइट हाउस ने शटडाउन की वजह से हर दिन 40 करोड़ डॉलर यानी लगभग 3,500 करोड़ रुपये का नुकसान का अनुमान लगाया था। अगर इस हिसाब से देखा जाए तो 43 दिन के शटडाउन में अमेरिका को 1.47 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ होगा। हालांकि, गुरुवार को फंडिंग बिल पर साइन करते हुए ट्रंप ने दावा किया है कि इस बिल से 1.5 ट्रिलियन डॉलर यानी लगभग 133 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ है।

 

 

अमेरिका में शटडाउन के दौरान 6.70 लाख सरकारी कर्मचारियों को छुट्टी पर भेज दिया गया था। वहीं 7.30 लाख से ज्यादा कर्मचारी ऐसे थे जो बिना सैलरी के ही काम कर रहे थे। अब यह बंद हो जाएगा। अब इन कर्मचारियों को आने वाले दिनों में सैलरी मिल जाएगी। जिन लोगों को छुट्टी पर भेजा गया था, वह भी अब ऑफिस आने लगेंगे।


कुछ फेडरल प्रोग्राम को पटरी पर पूरी तरह से आने में अभी कुछ हफ्ते लग सकते हैं। फूड बेनेफिट्स भी अब मिलने शुरू हो जाएंगे, जिससे 4.2 करोड़ लोगों को फायदा मिल रहा था। 


शटडाउन के कारण अमेरिका के 40 से ज्यादा एयरपोर्ट्स पर फ्लाइट्स ग्राउंडेड हो गई थीं। अब इन्हें फिर से शुरू कर दिया जाएगा। ट्रंप ने भी कहा है कि 20 हजार उड़ानों पर इसका असर पड़ा था, क्योंकि एयर ट्रैफिक कंट्रोलर ने बिना सैलरी के काम करने की बजाय छुट्टी पर चले गए थे।

 

यह भी पढ़ें-- नर्स, डॉक्टर और इंजीनियर, भारत के कामगारों के दम पर चल रही दुनिया

इतिहास का सबसे लंबा शटडाउन था

अमेरिका का के इतिहास का यह सबसे लंबा शटडाउन था, जो 43 दिन चला। इससे पहले भी दूसरा सबसे लंबा शटडाउन ट्रंप के कार्यकाल में ही लगा है। 


ट्रंप के पहले कार्यकाल में दिसंबर 2018 में 35 दिन के शटडाउन रहा था। उस वक्त शटडाउन की वजह से अमेरिकी अर्थव्यवस्था को 11 अरब डॉलर का घाटा हुआ था। 


इससे पहले 2013 में ओबामा सरकार में भी 16 दिन तक शटडाउन रहा था। तब डेमोक्रेट्स ओबामाकेयर को बंद करने की मांग पर अड़े थे, जिस कारण फंडिंग बिल पास नहीं हो पाया था। पिछले 50 साल में फंडिंग बिल अटकने की वजह से अमेरिका में 21 बार शटडाउन लग चुका है।