दुनिया भर में मोटापे की समस्या तेजी से बढ़ती जा रही है। यह समस्या खराब जीवनशैली और असंतुलित खान पान के कारण होती है। मोटापा और ज्यादा वजन दोनों ही स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार दुनिया भर में 18 वर्ष और उससे अधिक आयु के लगभग 250 करोड़ लोग ज्यादा वजन के कारण इस समस्या से परेशान हैं। बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) का उपयोग यह जानने के लिए किया जाता है कि कोई व्यक्ति अधिक वजन वाला है या वह मोटापे का शिकार है। यह किसी व्यक्ति के वजन और लंबाई के अनुसार ही शरीर में फैट चेक करने के लिए उपयोग किया जाता है।
कई लोग मोटापे और वजन बढ़ने को एक समान मानते हैं लेकिन यह दोनों एक-दूसरे से अलग होते हैं। ज्यादा वजन होने का मतलब है कि आपका वजन आपकी लंबाई के अनुसार ज्यादा है लेकिन यह जरूरी नहीं है कि आपके शरीर में ज्यादा फैट हो। मोटापा होने का मतलब है कि आपके शरीर में फैट की मात्रा ज्यादा है जो आपके स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकती है। आइए जानते हैं कि दोनों में क्या फर्क होता है।
दोनों में अंतर?
मोटापा एक ऐसी स्थिति है जिसमें शरीर में फैट की मात्रा ज्यादा हो जाती है। जिससे व्यक्ति का वजन बढ़ जाता है और स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है। मोटापा होने से व्यक्ति को कई स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है जैसे कि दिल से संबंधित बीमारियां, बीपी का बढ़ना और कुछ अलग तरह के कैंसर। मोटापे के कारण व्यक्ति की शारीरिक गतिविधि में कमी आ सकती है। थकान और एनर्जी की कमी हो सकती है। वहीं, वजन बढ़ना एक ऐसी स्थिति है जिसमें शरीर का वजन बढ़ जाता है। जो कि कई कारणों से हो सकता है। जब हम अधिक खान-पान करते हैं और शारीरिक गतिविधि में कमी रखते हैं तो हमारे शरीर में फैट जमा हो जाता है। जिससे वजन बढ़ने लगता है।
WHO ने बीएमआई का एक मानक रखा है जो यह बताता है कि आपका वजन आपकी उम्र और लंबाई के हिसाब से ज्यादा तो नहीं है। अगर आपका वजन बीएमआई के मानक के अंदर आता है तो आप मोटे नहीं हैं अगर बीएमआई की संख्या सामान्य से ज्यादा आती है तो इसका मतलब यह है कि आपका वजन आपकी उम्र और लंबाई से अधिक हो सकता है।
क्या है बचाव?
मोटापा और वजन को कम करने के लिए स्वस्थ आहार लेना आवश्यक है। जिसमें फल, सब्जियां और प्रोटीन शामिल हों और इसके साथ ही नियमित व्यायाम भी जरूरी है जैसे कि चलना, दौड़ना, साइकिल चलाना और योग करना। मोटापे को नियंत्रित करने के लिए सर्जरी भी हो सकती है। इसके साथ ही जीवनशैली में बदलाव करना जैसे कि तनाव कम करना, पूरी नींद लेना और शारीरिक गतिविधि करना भी वजन कम करने में मदद कर सकता है।