'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच अचानक सीजफायर हुआ तो कई तरह की चर्चाएं होनी लगीं। सोशल मीडिया पर दावे किए गए कि अचानक सीजफायर होने की वजह यह थी कि पाकिस्तान में एक न्यूक्लियर ठिकाने पर लीकेज हो गया। इसी को लेकर भारत में सेना के अधिकारियों से सवाल भी पूछा गया था लेकिन किनारा हिल्स के बारे में भारत ने साफ इनकार कर दिया कि ऐसा कोई हमला किया गया है। अब इंटरनेशनल अटॉमिक एनर्जी एजेंसी (IAEA) ने स्पष्ट किया है कि पाकिस्तान में रेडिएशन लीक की कोई खबर नहीं है।
इससे पहले दावा किया जा रहा था कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत के हवाई हमले में किराना हिल्स को निशाना बनाया गया है। इसी के साथ यह भी कहा जा रहा था कि किनारा हिल्स में पाकिस्तान के परमाणु ठिकाने थे और यहां हवाई हमले होने की वजह से यहां रेडिएशन लीक हो गया है। सोशल मीडिया पर दावे किए गए न्यूक्लियर लीक रोकने के लिए पाकिस्तान में प्रयास भी किए जा रहे हैं। हालांकि, अब भारत के साथ-साथ IAEA ने भी इस तरह की सभी बातों को खारिज कर दिया है।
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रेडिएशन लीक हुआ या नहीं?
इस संबंध में इंडियन एक्सप्रेस अखबार ने IAEA से सवाल पूछा था। IAEA ने अपने जवाब में कहा है, 'हम उस खबर के बारे में जानते हैं जिसकी बात आप कर रहे हैं। IAEA के पास मौजूद जानकारी के मुताबहिक, पाकिस्तान के किसी भी परमाणु ठिकाने पर रेडिएशन लीक की कोई खबर नहीं है।'
IAEA के मुताबिक, उसका इंसिडेंट एंड इमरजेंसी सेंटर इस तरह की चीजों पर नजर रखता है। बता दें कि IAEA से पहले अमेरिकी सरकार के प्रवक्ता टॉमी पिगट ने भी 13 मई को इसी तरह की बातें कही थीं। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान जब टॉमी पिगट से कथित न्यूक्लियर लीक के बारे में सवाल पूछा गया तो उनका कहना था कि उनके पास ऐसी कोई जानकारी नहीं है।
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ठीक एक दिन पहले 12 मई को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान भारतीय वायुसेना के एयर मार्शल एके भारती से भी इसी तरह का सवाल पूछा गया था। तब उन्होंने हल्के अंदाज में कहा था, 'यह बताने के लिए शुक्रिया कि किराना हिल्स में पाकिस्तान के परमाणु ठिकाने हैं। हमें इसके बारे में नहीं पता था। वहां जो कुछ भी हो लेकिन हमने किनारा हिल्स पर कोई हमला नहीं किया है।'
पाकिस्तान के सरगोधा जिले में मौजूदा किराना की पहाड़ियां पाकिस्तान के रक्षा मंत्रालय के अधीन आती हैं। पहाड़ के रंग की वजह से इसे 'काली पहाड़ी' भी कहा जाता है।