पाकिस्तान के प्रतिबंधित संगठन जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मौलाना मसूद अजहर के परिवार के कम से कम 10 सदस्य भारत के एयर स्ट्राइक में मारे गए हैं। उसे परिवार के 10 सदस्य और 4 करीबी सहयोगी मारे गए हैं। मरने वालों में मसूद अजहर की बहन, उसका बहनोई, भानजा और उसकी पत्नी शामिल हैं। बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक मसूद अजहर के एक करीबी शख्स का परिवार भी मारा गया है।
जैश-ए-मोहम्मद का मतलब मोहम्मद की फौज है। मसूद अजहर ने इस आतंकी समूह की स्थापना की थी। वह हिंदुस्तान में बंद था लेकिन साल 1999 में कांधार विमान अपहरण के बाद उसे रिहा करना पड़ा। आतंकियों ने भारतीय यात्रियों की रिहाई के लिए शर्त रखी कि तीन आतंकियों को रिहा किया जाए। मसूद भी उन्हीं में से एक था। इंडियन एयर लाइंस की प्लेन उसे लेकर तालिबान के शासन वाले अफगानिस्तान में पहुंची। मसूद अजहर ने वहां तालिबान के नेता मुल्ला उमर और अकायदा के चीफ ओसमा बिल लादेन से मुलाकात की। भारत जैश पर संसद के हमले के आरोप लगाता है।
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जैश-ए-मोहम्मद क्या है?
जैश-ए-मोहम्मद पाकिस्तान में भी प्रतिबंधित संगठन है। वैश्विक दबावों की वजह से पाकिस्तान को ऐसा करना पड़ा था लेकिन मसूद अजहर की सत्ता में ऊंची रसूख है। अफजल गुरु स्क्वाड, अल-मुराबितून और तहरीक-अल-फुरकान जैसे प्रॉक्सी संगठनों के नाम से यह आपराधिक गतिविधियों को अंजाम देता है। जुलाई 2016 में हुए पठानकोट हमले में भी इस संगठन का हाथ है। जैश के कमांडर नूर मोहम्मद को भारतीय सेना ने साल 2017 में मार डाला था। पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI इसे सपोर्ट करती है।
मसूद अजहर कौन है?
मसूद अजहर 10 जुलाई को पाकिस्तान के बावलपुर में पैदा हुआ था। पाकिस्तान में रहकर भारत में वह आतंकी गतिविधियों को बढ़ावा देता है। शिक्षक पिता की संतान मसूद अजहर वैश्विक आतंकियों की लिस्ट में शामिल है। 1 मई 2019 को मसूद अजहर को भारत के भारी दबाव के बाद संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने वैश्विक आतंकियों की लिस्ट में रखा। वह कई आतंकी संगठनों में हिस्सा ले चुका है।
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कब भारत में गिरफ्तार हुआ था मसूद?
साल 1994 में मसूद अजहर श्रीनगर आया था। वह फर्जी दस्तावेजों के सहारे भारत में घुस गया था। फरवरी 1994 में उसे सुरक्षाबलों ने अनंतनाग में उसे गिरफ्तार किया और जेल में रखा। गिरफ्तारी के बाद उसने कहा था कि इस्लाम के सैनिक, 11 देशों से आकर कश्मीर को आजाद कराएंगे। वह पाकिस्तान के लिए इतना खास था कि उसके लिए आतंकियों ने विमान तक हाइजैक कर लिया।
मसूद अजहर के कांड, जिनसे दहला भारत
1999 कंधार विमान अपहरण: इंडियन एयरलाइंस की फ्लाइट IC-814 का अपहरण हुआ था। आतंकियों ने मसूह अजहर की रिहाई की मांग की। भारत को उसे छोड़ना पड़ा।
2001 भारतीय संसद हमला: दिल्ली में संसद पर आतंकी हमला हुआ। कई सुरक्षाकर्मी शहीद हुए। इस हमले में भी जैश का हाथ सामने आया, जिसका सरगना मसूद अजहर था।
2016 पठानकोट हमला: पंजाब के वायुसेना अड्डे पर हमला बोला गया। हमले की प्लानिंग के आरोप मसूद अजहर पर लगे।
2019 पुलवामा हमला: जम्मू-कश्मीर में CRPF के 40 से ज्यादा जवान शहीद हो गए। जैश का हाथ सामने आया।
और भी क्या आरोप हैं?
मसूद अजहर, कश्मीर में अशांति फैलाने के लिए आतंकियों को ट्रेनिंग देता था। वह कश्मीर सीमा पर लगातार आतंकियों को घुसपैठ कराने की फिराक में रहता है। संयुक्त राष्ट्र ने इसे वैश्विक आतंकी घोषित किया है। भारत में वह घोषित आंतकी है।