भारत में लोकपाल नाम की संस्था भ्रष्टाचार विरोधी संस्था के रूप में जानी जाती है। भ्रष्टाचार के मामलों की शिकायत के लिए बनी इस संस्था के लिए कई बार आंदोलन भी हुए हैं। अब इसी संस्था ने अपने सदस्यों के लिए महंगी BMW कारों की मांग कर डाली है। जिस मॉडल की कार के लिए टेंडर जारी किया गया है, उसकी कीमत लगभग 70 लाख रुपये है। इसी मॉडल की कुल 7 गाड़ियों के लिए टेंडर जारी किया गया है और दो हफ्ते के भीतर गाड़ियों की डिलीवरी करने को कहा गया है। इसके लिए कार का रंग भी बताया गया है। लोकपाल की यह मांग पूरी करने के लिए लगभग 5 करोड़ रुपये का खर्च आएगा।

 

CNN-News18 की एक रिपोर्ट के मुताबिक, इन 7 कारों के लिए 16 अक्तूबर को टेंडर जारी किया गया है और कहा गया है कि 2 हफ्ते में गाड़ियां पहुंचा दी जाएं। साथ ही, यह भी कहा गया है कि सप्लाई ऑर्डर जारी होने के 30 दिन से ज्यादा कम समय नहीं लगना चाहिए। ये गाड़ियां लोकपाल के दिल्ली स्थित दफ्तर पर मंगाई गई हैं। यह दफ्तर वसंत कुंज इंस्टिट्यूशल एरिया में है।

 

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सभी 7 सदस्यों के लिए मंगाई कार

 

टेंडर में लिखा गया है कि भारत के लोकपाल की ओर से यह टेंडर जारी किया गया है। इसके मुताबिक, BMW 3 Series 330 Li मॉडल की कुल 7 कार चाहिए। ये गाड़ियां सफेद रंग की और स्पोर्ट मॉडल यानी लॉन्ग व्हीलबेस वाली होनी चाहिए। बता दें कि एक गाड़ी की ऑन रोड कीमत लगभग 70 लाख रुपये है और अन्य खर्चे मिलाकर 7 गाड़ियों के लिए कुल 5 करोड़ रुपये खर्च होंगे। यहां यह भी जानना जरूरी है कि लोकपाल में मौजूदा समय में चेयरपर्सन को मिलाकर कुल 7 सदस्य ही हैं।

 

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लोकपाल में चेयरपर्सन के अलावा कुल 8 सदस्य होते हैं। इसमें 4 सदस्य न्यायिक होते हैं। इनकी नियुक्ति देश के राष्ट्रपति की ओर से की जाती है और इनका कार्यकाल 5 साल या 70 साल की उम्र (जो भी पहले आए) तक होती है। लोकपाल के चेयरपर्सन को भारत के चीफ जस्टिस के बराबर सैलरी और अन्य सुविधाएं दी जाती हैं। इसके अलावा, सदस्यों को सुप्रीम कोर्ट के जज के बराबर सैलरी दी जाती है।