गुजरात में गुरुवार को एक बड़े राजनीतिक बदलाव के तहत मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल को छोड़कर पूरे मंत्रिमंडल ने ही इस्तीफा दे दिया है। भूपेंद्र पटेल की कैबिनेट के सभी 16 मंत्रियों ने अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है। यह घटना कैबिनेट विस्तार के एक दिन पहले हुई है। माना जा रहा है कि विस्तार के बाद कैबिनेट में 27 मंत्रियों को शामिल किया जाएगा। खबरों के मुताबिक 10 अन्य लोगों को मंत्री बनाया जाएगा। हालांकि, यह भी कहा जा रहा है कि मौजूदा चेहरों में से आधे से ज्यादा को हटाया जा सकता है।

 

सरकार द्वारा जारी प्रेस रिलीज के मुताबिक गुजरात में कैबिनेट विस्तार शुक्रवार को 11.30 मिनट पर किया जाएगा। गुजरात में मौजूदा हालात में सीएम भूपेंद्र पटेल सहित 17 मंत्री हैं जिनमें से आठ कैबिनेट रैंक के मंत्री हैं बाकी के राज्य स्तर के मंत्री हैं। 182 सदस्यों वाली विधानसभा में अधिकतम 27 मंत्री हो सकते हैं। एक दिन पहले ही राज्य मंत्री जगदीश विश्वकर्मा को राज्य का प्रदेश अध्यक्ष बनाया गया था।

 

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जातिगत संतुलन बनाने की मुहिम

पार्टी सूत्रों के मुताबिक नई टीम में युवा और अनुभवी दोनों तरह के मंत्रियों को स्थान मिलेगा, जिसका उद्देश्य सभी समुदायों में जातिगत संतुलन बनाए रखना है। यह कदम गुरुवार शाम मुख्यमंत्री आवास पर हुई एक बैठक के बाद उठाया गया, जिसमें बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव (संगठन) सुनील बंसल और मुख्यमंत्री पटेल शामिल हुए। सूत्रों के अनुसार, बंसल और पटेल ने प्रत्येक मंत्री से व्यक्तिगत रूप से मुलाकात की और उनके इस्तीफे लेने से पहले उन्हें केंद्रीय नेतृत्व के फैसले से अवगत कराया।

 

पार्टी नेताओं ने कहा कि ये इस्तीफ़े अगले दौर की राजनीतिक को सेट करने के लिए परिवर्तन किया जा रहा है। गुजरात में अगले साल चुनाव होने वाले हैं, उसी के मद्देनजर फेरबदल किया जा रहा है।  कुछ राजनीतिक एक्सपर्ट्स का मानना है कि आगामी नगर निगम चुनावों पर नज़र रखते हुए, आप के बढ़ते प्रभाव के बीच, जातिगत गणित को संतुलित करने के लिए यह निर्णय लिया गया। 2015 के पाटीदार आरक्षण आंदोलन के दौरान प्रमुखता से उभरे आप नेता गोपाल इटालिया, खासकर लेउवा पाटीदारों के बीच, अपनी पकड़ मज़बूत कर रहे हैं।

 

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आम आदमी फैक्टर

रिपोर्ट्स के मुताबिक, पार्टी सौराष्ट्र के क्षेत्र से विधायकों को मंत्रिमंडल में स्थान दे सकती है क्योंकि यहां पर आम आदमी पार्टी का प्रभाव बढ़ रहा है। माना जा रहा है कि रीवाबा जडेजा, जयेश रादडिया और उदय कांगड़ को मंत्री बनाया जा सकता है।

कौन-कौन थे मंत्री

  1. कनुभाई मोहनलाल देसाई
  2. ऋषिकेश गणेशभाई पटेल
  3. राघवजी भाई हंसराज भाई पटेल
  4. बलवंत सिंह चंदन सिंह राजपूत
  5. कुंवरजी भाई मोहनभाई बवालिया
  6. मुलुभाई हरदास भाई बेरा
  7. कुबेरभाई मनसुखभाई दिनोर
  8. भानुबेन मनोहरभाई बाबरिया
  9. हर्ष रमेशकुमार सांघवी
  10. जगदीश भाई ईश्वरभाई पांचाल
  11. परषोत्तम भाई उद्धव भाई सोलंकी
  12. बचूभाई मागनभाई खबाड़
  13. मुकेशभाई जिनाभाई पटेल
  14. भीकूसिंह जी चतुरसिंह परमार
  15. कुंवरजीभाई नरसिंहभाई हलपटी
  16. प्रफुल्ल छगनभाई पनशेरिया