संजय सिंह/जमुई: केंद्र और प्रदेश की सियासत में लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान की मजबूत पकड़ है। मगर जमुई में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) के कार्यकर्ताओं ने चिराग पासवान के बहनोई और सांसद अरुण भारती के लापता होने का पोस्टर लगाकर एक नया सियासी विवाद खड़ा कर दिया।
महागठबंधन के नेताओं का कहना है कि वर्तमान सांसद क्षेत्र के विकास के बजाय दिल्ली और पटना की राजनीति में ज्यादा दिलचस्पी लेते हैं। यही कारण है कि यह इलाका प्रदेश के दूसरे जिलों की तुलना में आज भी उपेक्षित है। हालांकि लोजपा आर के समर्थकों ने बाद में इन पोस्टरों को हटा दिया। अब इस मुद्दे पर राजनीतिक सरगर्म हो गई है।
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सांसद से क्यों नाराजगी?
जमुई संसदीय क्षेत्र का प्रतिनिधित्व दो बार चिराग पासवान भी कर चुके हैं। राजनीति का बड़ा चेहरा होने के कारण लोगों को इस बात की उम्मीद थी कि जमुई का कायाकल्प होगा। एक-दो बड़े कामों को छोड़कर जमुई के हिस्से में कोई बड़ा प्रोजेक्ट नहीं आया। 2024 के लोकसभा चुनाव में चिराग पासवान ने हाजीपुर से चुनाव लड़ा और जमुई सीट से अपने बहनोई अरुण भारती को उतारा।
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लोगों का कहना है कि चुनाव जीतने के बाद अरुण भारती कभी कभार ही क्षेत्र में आते हैं। विधानसभा चुनाव में भी वह दो दिन जमुई में रहे। लोगों का कहना है कि उनके लगातार क्षेत्र से बाहर रहने के कारण आम लोगों को परेशानी हो रही है। विकास के मामले में यह क्षेत्र पहले ही पिछड़ा है। चिराग पासवान से यहां के लोगों को जो उम्मीद थी, वह पूरा नहीं हो सकी। अब उनके बहनोई भी उसी नक्शे कदम पर हैं।
क्या कहते हैं लोजपा आर के समर्थक?
लोजपा आर के समर्थकों का कहना है कि पार्टी के सांसद अरुण भारती क्षेत्र के विकास के लिए लगातार प्रयत्नशील हैं। यह कहना गलत है कि चिराग पासवान के कार्यकाल में कोई बड़ा काम नहीं हुआ। जमुई में रेलवे, स्वास्थ्य और सड़क परियोजनाओं से जुड़े कई काम कराए गए हैं। कुछ लोग बहकावे में आकर इस तरह की हरकत कर रहे हैं।
