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ED के अधिकारियों को कैसे मिलती है नौकरी, समझिए सब कुछ

अगर कोई भी ब्लैक मनी को वाइट मनी में बदलने की कोशिश करता है तो उसके खिलाफ ईडी की कार्रवाई होती है। पिछले कुछ सालों में ईडी की गतिविधियां खूब चर्चाओं में भी रही हैं।

Enforcement Directorate

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बीते कुछ सालों में प्रवर्तन निदेशालय खूब चर्चा में रहा है। मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों में कई नेताओं, उद्योगपतियों और अन्य लोगों के यहां न सिर्फ ईडी की छापेमारी हुई है बल्कि सैकड़ों लोगों को गिरफ्तार भी किया गया है। ईडी के अधिकारी केंद्र सरकार के अधीन काम करते हैं और ऐसे लोगों के खिलाफ सबूत जुटाते हैं जो गलत तरीके से पैसे कमाते हैं या फिर अवैध तरीके से कमाए गए पैसों को वैध बनाने की कोशिश करते हैं। इस तरह से पैसों को वैध बनाने की कोशिश को ही मनी लॉन्ड्रिंग कहा जाता है।

 

केंद्र की तमाम नौकरियों की तरह ही ईडी की नौकरी भी काफी प्रतिष्ठित मानी जाती है। बीते कुछ सालों में ईडी की गतिविधियां बढ़ने के चलते यह डिमांड और चर्चा में भी खूब है। आइए समझते हैं कि आखिर ऐसा क्या खास है जिसके जरिए ही आप ईडी में नौकरी पा सकते हैं। साथ ही, यह भी समझते हैं कि इस एजेंसी में नौकरी के लिए न्यूनतम योग्यता क्या होनी चाहिए?


कैसे बनते हैं ED के अधिकारी?

ईडी में अधिकारियों की भर्ती स्टाफ सेलेक्शन कमीशन के जरिए की जाती है। इसके लिए ग्रेजुएशन पास कर चुके अभ्यर्थी कंबाइड ग्रेजुएट लेवल (CGL) परीक्षा देते हैं। इस परीक्षा को पास करने के बाद ही ईडी में नौकरी मिलती है। इस परीक्षा के लिए उम्र सीमा 21 से 30 साल है।

 

परीक्षा और इंटरव्यू के बाद असिस्टेंट इन्फोर्समेंट ऑफिसर का पद मिलता है जिसे लंबी ट्रेनिंग दी जाती है। इन अधिकारियों को प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) और फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट एक्ट (FEMA) की विस्तृत जानकारी दी जाती है ताकि वे इसका पालन करवा सकें और इन कानूनों का उल्लंघन करने वाले के खिलाफ जांच कर सकें।

 

ईडी के अधिकारियों का ग्रेड पे लेवल 7 होता है। इनकी सैलरी 44,900 रुपये से लेकर 1,42,400 रुपये तक होती है।

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