तेलुगू फिल्म स्टार विजय देवरकोंडा विवादों में घिर चुके हैं। उनके खिलाफ हैदराबाद के एसआर नगर पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई गई है। देवरकोंडा पर आदिवासी समुदाय के खिलाफ आपत्तिजनक बयान देने का आरोप है। पुलिस का कहना है कि इस मामले में आवश्यक कार्रवाई की जाएगी। हैदराबाद के रहने वाले वकील लाल चौहान ने गुरुवार को पुलिस के पास विजय के खिलाफ शिकायत दी है।
वकील ने अपनी शिकायत में बताया कि विजय देवरकोंडा तमिल सुपरस्टार सूर्या की फिल्म रेट्रो के प्री-रिलीज इवेंट में पहुंचे थे। यहां उन्होंने आदिवासी समुदाय के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की। अपने बयान में विजय ने पहलगाम आतंकी हमले का जिक्र किया और कहा कि ये हमले सैकड़ों साल पहले आदिवासी समुदायों के बीच हुए संघर्षों के जैसे हैं। वकील ने कहा कि इससे उन्हें ठेस पहुंची है और अपमानित महसूस कर रहा हूं। लाल चौहान ने विजय देवरकोंडा से तुरंत माफी की मांग की।
यह भी पढ़ें: 'हाउस अरेस्ट’ शो में ऐसा क्या हो रहा है जो विवादों में आ गए एजाज खान?
विजय ने नहीं दी कोई प्रतिक्रिया
पूरे विवाद पर विजय देवरकोंडा ने अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है। मगर आदिवासी संगठनों में उनके बयान पर गुस्सा बढ़ता जा रहा है। कई संगठनों ने अभिनेता के बयान पर आपत्ति जताई और निंदा भी की। उधर, एसआर नगर पुलिस का कहना है कि मामले में जरूरी कार्रवाई की जाएगी।
कश्मीर भारत का है: देवरकोंडा
अपने भाषण में विजय ने कहा कि आतंक और ब्रेनवॉशिंग को शिक्षा से रोका जा सकता है। कश्मीर में जो कुछ हो रहा है, उसका हल उन्हें (आतंकवादियों को) शिक्षित करना है और यह भी सुनिश्चित करना है कि उनका ब्रेनवॉश न हो। विजय ने आगे कहा, 'कश्मीर भारत का है और कश्मीरी हमारे हैं। मैंने दो साल पहले कश्मीर में खुशी फिल्म की शूटिंग की थी। हमारे पास कश्मीरी लोगों से जुड़ी अच्छी यादें हैं।'
यह भी पढ़ें: 'पाक आर्मी चीफ पागल, अब आर पार का समय', जावेद अख्तर की सरकार से मांग
'पाकिस्तान पर हमले की जरूरत नहीं'
विजय ने आगे कहा, 'भारत को पाकिस्तान पर हमला करने की जरूरत नहीं है। पाकिस्तान के लोग ही अपनी सरकार से ऊब चुके हैं। अगर ऐसा ही चलता रहा तो वे उन पर खुद ही हमला कर देंगे। वे 500 साल पहले आदिवासियों के जैसा व्यवहार कर रहे हैं जो बिना कॉमन सेंस के लड़ते हैं। हमें लोगों के रूप में एकजुट रहना चाहिए। एक-दूसरे से प्यार करना चाहिए। हमें हमेशा लोगों के रूप में आगे बढ़ने और एकजुट रहने की आवश्यकता है। शिक्षा सबसे अहम है।'
बता दें कि 22 अप्रैल को पहलगाम में आतंकवादियों ने पर्यटकों को निशाना बनाया। इस हमले में 28 लोगों की जान गई और कई अन्य लोग घायल हुए थे।