कभी सोचा है कि दीवारों पर छिपकलियां सरपट दौड़ कैसे पाती हैं? उनके पांव में ऐसा क्या है कि जो उन्हें दीवारों पर रोके रखता है, गिरने नहीं देता। क्या कोई गोंद उसके पैरों में चिपका होता है या दीवाल पर भी चिपकने वाला कोई चुंबक उसके पैरों में लगा होता है? कोई ठीक उत्तर है आपके पास? अगर नहीं तो विज्ञान की एक खासियत है कि आपके हर 'क्यों' का जवाब, ये सटीक देता है।
छिपकलियों (Lizards) के दीवारों पर चलने का राज छिपा है उनके पांवों में। छिपकलियों के ये पांव 'वान डर वाल्स' बल पैदा करते हैं, जिनकी वजह से वे दीवारों पर टिकी रह पाती हैं। छिपकलियों के पांव में मौजूद अणुओं के इलेक्ट्रॉन, जब दीवारों के अणुओं में मौजूद इलेक्ट्रॉन से जब मिलते हैं तो एक 'बल' (Force) पैदा होता है। छिपकली के पैर की उंगलियों में एक पैड होता है, जो उसके सतह क्षेत्र को बढ़ा देता है, जिसकी मदद से छिपकली दीवार से चिपकी हुई रहती है।
कैसे दीवार से चिपकी रहती है छिपकली?
विज्ञान, ठीक-ठीक इस बात को ऐसे ही कहता है. अब आसान भाषा में अगर समझना है तो कुछ यूं समझिए। कोई भी वस्तु, अणु और परमाणुओं से मिलकर बनता है। अणु, कई परमाणुओं से मिलकर बनता है। किसी तत्व या यौगिक के सापेक्ष एक बल होता है, जिसे अंतर आणविक बल कहते हैं। वान डर वाल फोर्स, इसी बल को कहते हैं। छिपकलियों के पैरों में बहुत छोटे-छोटे बाल होते हैं। इन बालों के घर्षण से एक क्षेत्र बन जाता है, जिसे वान डर वाल फोर्स पैदा होता है। यह दीवारों से छिपकली को चिपकाए रखता है।
दीवार पर टिके रहने के लिए ये जुगाड़ लगाती है छिपकली
छिपकलियां अपने पैरों को लगातार हिलाती रहती हैं, जिससे यह बल लगातार बना रहता है। एक और उदाहरण से आप इसे समझ सकते हैं। जैसे आप अपने बालों में तेजी से कंघी फिराएं और कुछ कागज के टुकड़ों को नीचे रखें। उन्हें अगर कंघी से चिपकाएंगे तो वे उड़कर कंघी से चिपकने लगते हैं। यह एक तरह के आवेश की वजह से ऐसा होता है। यही काम छिपकली दीवाल के साथ करती है और दीवार से टिकी रहती है।