दिल्ली यूनिवर्सिटी (DU) शैक्षणिक सत्र 2025-26 के लिए स्नातक ( UG) दाखिले जल्द ही शुरु कर सकती है। UG कोर्सेज में दाखिला लेने के लिए कॉमन सीट एलोकेशन सिस्टम (CSAS) पर दाखिले की प्रक्रिया का पहला चरण जल्द ही शुरू हो सकता है। दाखिले के लिए पहले चरण में उम्मीदवारों से सिर्फ उनकी बुनियादी जानकारी और डॉक्यूमेंट ही लिए जाएंगे। पहले चरण में छात्रों को कॉलेज और कोर्स की पसंद नहीं भरनी होती है। इस चरण में छात्रों की बुनियादी जानकारी ली जाती है और डॉक्यूमेंट्स वेरिफिकेशन किया जाता है।
दिल्ली यूनिवर्सिटी में दाखिले के लिए सिर्फ वही छात्र आवेदन कर सकते हैं जिन्होंने CUET-UG 2025 की परीक्षा दी है। इस साल देशभर में 13 लाख छात्रों ने CUET-UG की परीक्षा दी है। नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) जुलाई 2025 के तीसरे हफ्ते में आधिकारिक वेबसाइट पर CUET UG रिजल्ट जारी कर सकती है। एक बार रिजल्ट जारी होने के बाद, CUET आवेदक अपने स्कोर और CUET UG स्कोरकार्ड को प्राप्त कर सकते हैं। दिल्ली यूनिवर्सिटी के लिए CSAS पोर्टल पर एडमिशन प्रक्रिया के लिए हेल्पलाइन जारी कर दिया गया है। दिल्ली यूनिवर्सिटी में दाखिले के लिए छात्र ईमेल के माध्यम से UG@ADMISSION.DU.AC.IN पर संपर्क कर सकते हैं। इसके अलावा छात्र 011-27666073 पर कॉल भी कर सकते हैं।
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कैसे होगा एडमिशन?
दिल्ली यूनिवर्सिटी में दाखिले के लिए एक कॉमन पोर्टल बना हुआ है। इस पोर्टल को कॉमन सीट अलोकेशन सिस्टम (CSAS) नाम दिया गया है और सभी कॉलेजों के लिए इसी वेबसाइट पर एडमिशन प्रक्रिया पूरी होगी।
पहला चरण- छात्रों को अपने CUET-UG रोल नंबर के साथ ही लॉग-इन करना होगा। इसके बाद ही आपकी आईडी सीट अलोकेशन पोर्टल पर बनेगी। आईडी बनाने के बाद छात्रों को अपनी जानकारी और डॉक्यूमेंट अपलोड करने होंगे और साथ ही काउंसलिंग फीस का भुगतान भी करना होगा। छात्रों को CUET-UG का रिजल्ट अपलोड करने की जरूरत नहीं है क्योंकि पोर्टल रिजल्ट को आपकी आईडी पर खुद ही अपलोड कर देगा। पहले चरण में छात्रों को आईडी बनाकर अपनी जानकारी अपलोड करनी होगी। इसके बाद डॉक्यूमेंट अपलोड करने होंगे।
दूसरा चरण- पहले चरण के बाद छात्रों को CUET-UG के रिजल्ट के आधार पर अपना कोर्स और कॉलेज का चयन करना होगा। इसमें छात्रों को एक से ज्यादा कोर्स और कॉलेज का चयन करने का विकल्प मिलता है।छात्र केवल उन्हीं कार्यक्रमों के लिए आवेदन कर सकते हैं, जिनके लिए उन्होंने CUET की परीक्षा दी है। इस प्रेफरेंस के आधार पर ही छात्रों को कॉलेज और कोर्स मिलेगा।
तीसरा चरण- एडमिशन प्रोसेस में तीसरे चरण पर छात्रों को अपनी प्रेफरेंस को लॉक करना होगा। इसका अर्थ है कि छात्रों ने जो भी कोर्स और कॉलेज चुना है वह उसमें दाखिला लेना चाहते हैं। एक बार अगर यह लॉक हो गया तो इसके बाद छात्रों को किसी और कोर्स या कॉलेज के लिए अप्लाई करने का मौका नहीं मिलता। इसलिए प्रेफरेंस लॉक करते समय ध्यान रखना चाहिए की आर किसी और कोर्स या कॉलेज के लिए अप्लाई तो नहीं कर रहे। आप अपनी प्रेफरेंस लॉक करेंगे उसी के आधार पर अंतिम सीट एलोकेशट होगी। यह चरण जुलाई के अंत में शुरू होगा।
चौथा चरण- चौथे चरण में सीट आवंटन होगा। दिल्ली यूनिवर्सिटी में सीट आवंटन की प्रक्रिया पूरी तरह से CUET-UG स्कोर, छात्रों की कोर्स व कॉलेज की प्रेफरेंस और आरक्षण नीति के आधार पर होती है। प्रेफरेंस लॉक करने के बाद यूनिवर्सिटी सभी छात्रों की मेरिट के अनुसार पहला सीट आवंटन राउंड जारी करती है। इसमें यह देखा जाता है कि छात्र के स्कोर और प्रेफरेंस लिस्ट के अनुसार कौन सी सबसे बेहतर सीट उसे दी जा सकती है। यदि छात्र को कोई सीट आवंटित होती है, तो उसे तय समय सीमा के अंदर उस सीट को स्वीकार (Accept) करना होता है।
पांचवा चरण- सीट मिलने के बाद छात्र के पास 2 विकल्प होते हैं। पहला विकल्प यह है कि छात्र अपनी सीट को स्वीकार करे और जो कोर्स और कॉलेज उसे मिला है उसमें पहले साल की फीस जमा करवा दे। इसके बाद कॉलेज में अपने डॉक्यूमेंट Verification कराना होता है। दूसरा विकल्प यह है कि यदि छात्र को दी गई सीट से वह संतुष्ट नहीं है तो वह अपग्रेड के विकल्प का चयन कर सकता है। इस विकल्प का चयन करने से वह अगले राउंड में भाग ले सकता है। यदि छात्र किसी भी राउंड में सीट स्वीकार नहीं करता या फीस नहीं भरता, तो वह उस राउंड से बाहर कर दिया जाता है।
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि दिल्ली यूनिवर्सिटी सीट आवंटन के कई राउंड करवाती है। इसमें सामान्य राउंड के बाद स्पॉट राउंड भी होता है। स्पॉट राउंड में वे छात्र हिस्सा ले सकते हैं जिन्हें पहले कोई सीट नहीं मिली हो या जो पहले की सीट छोड़ चुके हों। यह पूरी प्रक्रिया डिजिटल और पारदर्शी होती है, और सभी अपडेट्स CSAS पोर्टल पर दिए जाते हैं। याद रखें कि सीट आवंटन में समय पर प्रतिक्रिया देना, डॉक्यूमेंट सही अपलोड करना और फीस का भुगतान करना बेहद जरूरी होता है, वरना सीट रद्द हो सकती है
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जरूरी डॉक्यूमेंट
दिल्ली यूनिवर्सिटी में दाखिला लेने के लिए आपके पास कुछ डॉक्यूमेंट होने चाहिए। अगर आपके पास जरूरी डॉक्यूमेंट नहीं है तो आपको किसी भी चरण में दाखिला प्रक्रिया से बाहर किया जा सकता है।
• आवेदन पत्र का प्रिंटआउट
• कक्षा 10 का प्रमाण पत्र/मार्कशीट जिसमें जन्म तिथि और माता-पिता का नाम लिखा हो
• कक्षा बारहवीं की मार्कशीट
• एससी/एसटी/ओबीसी/ईडब्ल्यूएस/सीडब्ल्यू/केएम प्रमाण पत्र (उम्मीदवार के नाम पर)
• ओबीसी (गैर-क्रीमी लेयर) प्रमाण पत्र (उम्मीदवार के नाम पर) और जिसमें जाति http://ncbc.nic.in की ओबीसी केंद्रीय सूची में हो।
• EWS प्रमाण पत्र