हिंदू धर्म शास्त्रों में सूर्य ग्रहण को बहुत ही महत्वपूर्ण खगोलीय घटनाओं में गिना जाता है। जब चंद्रमा, पृथ्वी और सूर्य के बीच से गुजरता है और उस दौरान पृथ्वी पर सूर्य की हल्की रोशनी आती है, तो उसे सूर्य ग्रहण कहा जाता है। शास्त्रों में बताया गया है कि सूर्य ग्रहण का प्रभाव न सिर्फ पृथ्वी पर पड़ता है, बल्कि इसके कारण व्यक्ति के जीवन में भी कई तरह के परिवर्तन आते हैं।

 

बता दें कि हर साल दो सूर्य ग्रहण लगते हैं, जो कभी दिखाई देते हैं और कभी नहीं। कई लोगों के मन में यह प्रश्न है कि साल 2025 का पहला सूर्य ग्रहण कब लगेगा और क्या यह भारत में दिखाई देगा या नहीं? आइए जानते हैं।

 

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सूर्य ग्रहण 2025 की तिथि

वैदिक पंचांग के अनुसार, साल 2025 का पहला सूर्य ग्रहण 29 मार्च 2025, शनिवार के दिन लगेगा। हालांकि, यह ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा, इसलिए इसे आंशिक सूर्य ग्रहण कहा जाएगा।

किन जगहों पर दिखाई देगा सूर्य ग्रहण 2025?

खगोल वैज्ञानिकों के अनुसार, साल 2025 का पहला सूर्य ग्रहण मुख्य रूप से कनाडा, पुर्तगाल, स्पेन, आयरलैंड, फ्रांस, यूनाइटेड किंगडम, डेनमार्क, जर्मनी, नॉर्वे, फिनलैंड और रूस में साफ-साफ दिखाई देगा। वहीं, एशियाई देशों जैसे भारत, नेपाल, श्रीलंका, अफगानिस्तान और इससे सटे हुए देशों में यह नहीं दिखाई देगा।

 

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क्या सूर्य ग्रहण 2025 से लगेगा सूतक?

सनातन परंपरा में यह मान्यता है कि सूर्य ग्रहण एक अशुभ खगोलीय घटना होती है, जिसका नकारात्मक प्रभाव पृथ्वी और मनुष्य दोनों पर पड़ता है। इसलिए सूर्य ग्रहण से 10 से 12 घंटे पहले सूतक काल शुरू हो जाता है। इस दौरान कई कार्यों को करने की मनाही होती है।

 

हालांकि, सूतक काल तभी मान्य होता है जब ग्रहण किसी क्षेत्र में दिखाई देता है। चूंकि भारत में वर्ष 2025 का यह सूर्य ग्रहण दिखाई नहीं देगा, इसलिए इस दौरान सूतक काल भी मान्य नहीं होगा।

 

Disclaimer- यहां दी गई सभी जानकारी सामाजिक और धार्मिक आस्थाओं पर आधारित हैं। Khabargaon इसकी पुष्टि नहीं करता।