अमेरिका के पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जॉन बोल्टन ने कहा है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत पर लगाए गए भारी टैरिफ से अमेरिका को बड़ा नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा कि इन टैरिफ ने भारत को अमेरिका से दूर कर दिया और रूस व चीन के करीब ले गया। यह अमेरिका के उस लक्ष्य के खिलाफ है, जिसमें वह भारत को रूस और चीन से अलग करने की कोशिश करता रहा है।
बोल्टन ने सीएनएन से बात करते हुए कहा कि भारत पर 50% से ज्यादा टैरिफ, जिसमें 25% का अतिरिक्त टैरिफ शामिल है, लगाना एक बड़ी गलती थी। ट्रंप ने दावा किया था कि भारत रूस से तेल खरीदकर यूक्रेन युद्ध में रूस की मदद कर रहा है। लेकिन बोल्टन का कहना है कि यह कदम उल्टा पड़ गया और भारत को रूस व चीन के और करीब ले गया।
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अमेरिका को हो सकता है नुकसान
बोल्टन ने यह भी कहा कि ट्रंप ने चीन के साथ अप्रैल में छोटा सा ट्रेड वॉर शुरू किया, लेकिन बाद में टैरिफ बढ़ाने से बचे। दूसरी ओर, भारत पर सख्ती बरती गई। बोल्टन ने द हिल में लिखे एक लेख में कहा कि ट्रंप का चीन के प्रति नरम रवैया और भारत पर सख्ती अमेरिका के रणनीतिक हितों को नुकसान पहुंचा सकता है।
उन्होंने लिखा, 'व्हाइट हाउस चीन के लिए टैरिफ और अन्य नियमों में नरमी बरत रहा है, जबकि भारत पर सख्ती कर रहा है। यह एक बहुत बड़ी गलती हो सकती है।'
भारत ने किया था विरोध
भारत ने रूस से तेल खरीदना बंद नहीं किया और उसने अमेरिका के टैरिफ को 'अनुचित और गलत' बताया। रूस ने भी भारत का समर्थन किया और अमेरिका पर गैरकानूनी व्यापार दबाव डालने का आरोप लगाया।
बोल्टन ने चेतावनी दी कि ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की होने वाली मुलाकात में पुतिन भारत के टैरिफ का फायदा उठाकर अपनी रणनीति को आगे बढ़ा सकते हैं। इस नीति से अमेरिका और भारत के रिश्तों में तनाव बढ़ा है, जबकि चीन को राहत मिली है। बोल्टन का मानना है कि यह अमेरिका के लिए 'सबसे खराब परिणाम' है।
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लगाया था अतिरिक्त टैरिफ
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत से अपील की थी कि वह रूस से तेल खरीदे। उनका कहना था कि भारत जो तेल रूस से खरीद रहा है उसकी वजह से यूक्रेन वॉर में मदद मिल रही है।
इसके बाद भारत ने लिस्ट जारी करके गिनाया था कि खुद यूरोपियन यूनियन और अमेरिका भी रूस से व्यापार कर रहे हैं ऐसे में इसको लेकर भारत को टैरिफ की धमकी देना उचित नहीं है। हालांकि, डोनाल्ड ट्रंप ने पहले तो भारत के ऊपर 25 प्रतिशत का टैरिफ लगाया और बाद में 25 प्रतिशत का अतिरिक्त टैरिफ लगा दिया था।