3 मई को श्रीलंका की राजधानी कोलंबो पहुंची एक फ्लाइट को सुरक्षा एजेंसियों द्वारा जांच के दायरे में लिया गया। यह फ्लाइट चेन्नई, तमिलनाडु से श्रीलंका आई थी। श्रीलंकन एयरलाइंस ने एक आधिकारिक बयान में बताया कि फ्लाइट नंबर UL 122, जो कि रविवार दोपहर 11:59 बजे कोलंबो एयरपोर्ट पर उतरी, को एक संदिग्ध आतंकी के इनपुट के आधार पर कड़ी सुरक्षा जांच से गुजरना पड़ा।
क्यों हुई यह जांच?
इस सुरक्षा जांच के पीछे भारत की ओर से मिले इनपुट, जिसमें बताया गया कि भारत में वांटेड एक संदिग्ध व्यक्ति इस फ्लाइट में सवार हो सकता है। सूत्रों के अनुसार, यह संदिग्ध 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले से जुड़ा हो सकता है।
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भारत की खबर एजेंसी पीटीआई ने श्रीलंका पुलिस के हवाले से बताया कि चेन्नई से कोलंबो आने वाली फ्लाइट की तलाशी इसलिए ली गई क्योंकि एक गुप्त सूचना मिली थी कि इस हमले से जुड़ा कोई व्यक्ति उसमें यात्रा कर सकता है।
श्रीलंकन एयरलाइंस का बयान
श्रीलंकन एयरलाइंस ने कहा, 'हम जनता को सूचित करना चाहते हैं कि फ्लाइट UL 122, जो विमान 4R-ALS द्वारा संचालित थी, चेन्नई से कोलंबो आने के बाद स्थानीय अधिकारियों के सहयोग से गहन सुरक्षा जांच के अधीन रही।'
यह जांच चेन्नई एरिया कंट्रोल सेंटर द्वारा भेजे गए अलर्ट के आधार पर की गई थी। फ्लाइट के सभी हिस्सों की बारीकी से तलाशी ली गई और आखिर में विमान को सुरक्षित घोषित कर दिया गया।
हालांकि इस प्रक्रिया की वजह इस विमान की अगली उड़ान UL 308 (कोलंबो से सिंगापुर) में देरी हो गई।
22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के मशहूर पर्यटन स्थल बैसारन घाटी में आतंकियों ने 26 लोगों की गोली मारकर हत्या कर दी। मारे गए लोगों में से अधिकतर पर्यटक थे।
इस हमले के बाद भारत सरकार ने इसे एक सुनियोजित आतंकी हमला बताया, और पाकिस्तान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी।
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भारत ने लिए 5 बड़े फैसले
भारत सरकार ने 23 अप्रैल को पाकिस्तान के साथ अपने राजनयिक संबंधों को कम किया। इसके तहत पांच बड़े फैसले लिए गए:
पाकिस्तानी सैन्य अधिकारियों को निष्कासित किया गया।
सिंधु जल संधि को निलंबित कर दिया गया।
पाकिस्तान से सभी वस्तुओं के आयात पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया गया।
आतंकियों की जानकारी के लिए खास जांच एजेंसियों को लगाया गया।
आतंकवाद को लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ आवाज उठाई।