संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार कार्यालय (OHCHR) ने शुक्रवार को एक रिपोर्ट जारी की है जिसमें बताया गया है कि गाज़ा पट्टी में मई के अंत से लेकर जून 27 तक कम से कम 613 लोगों की मौत हुई है। ये हत्याएं मुख्य रूप से अमेरिका और इज़रायल समर्थित समूह गाज़ा ह्यूमैनिटेरियन फाउंडेशन (GHF) द्वारा संचालित राहत केंद्रों और संयुक्त राष्ट्र व अन्य संगठनों के राहत शिविरों के आस-पास हुई हैं।
OHCHR की प्रवक्ता रवीना शामदासानी ने जिनेवा में बताया कि राहत वितरण स्थलों और शिविरों को निशाना बनाना न केवल मानवीय कानूनों का उल्लंघन है, बल्कि यह पूरे सिस्टम को ‘स्वाभाविक रूप से असुरक्षित’ बनाता है।
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किस दिन कितनी मौतें?
रिपोर्ट के मुताबिक 28 मई को जीएचएफ वितरण केंद्रों के पास 14, 29 मई को राहत शिविर के पास 9, 30 मई को एनजीओ केंद्र के पास 12, 2 जून को गाजा सिटी में सहायता शिविर के पास, 5 जून को अस्पताल परिसर के बाहर गोलीबारी में 23, 27 जून को ट्रक ड्राइवरों पर ड्रोन हमले में 27, 12 जून को राशन वितरण केंद्रों पर रॉकेट गिरने से 31, 14 जून को संयुक्त राष्ट्र राहत वाहन हमले में 45, 16 जून को उत्तरी गाजा में 28, 19 जून को महिला एवं बच्चों के शिविरों पर धमाका हुआ जिसमें 39, 21 जून को मध्य गाजा में 55, 24 जून को 37 और 27 जून को क्लीनिक और प्राथमिक चिकित्सा स्थल पर हमले में 40 लोगों की मौत हुई।
GHF के पास ज्यादातर मौतें
रिपोर्ट में जिस संगठन का प्रमुख रूप से जिक्र हुआ है, वह है गाज़ा ह्यूमैनिटेरियन फाउंडेशन (GHF)। यह संस्था अमेरिकी कंपनियों द्वारा वित्तपोषित सुरक्षा और लॉजिस्टिक सेवाओं की मदद से राहत सामग्री पहुंचाती है। इज़रायल का दावा है कि इसी व्यवस्था का इस्तेमाल करते हुए हमास और अन्य उग्रवादी समूह दी जा रही सहायता को अपने लिए प्रयोग करते हैं, लेकिन संयुक्त राष्ट्र ने इस योजना को 'अमानवीय' बताया है। OHCHR का कहना है कि इनमें से अधिकतर मौतें GHF केंद्रों के पास हुई हैं।
OHCHR के अनुसार उन्होंने यह आंकड़े अस्पतालों, राहत केंद्रों, परिवारों, स्थानीय स्वास्थ्य अधिकारियों, NGO, और स्वतंत्र पर्यवेक्षकों के माध्यम से जुटाए हैं। इसके अलावा, संयुक्त राष्ट्र की मानवीय समन्वय इकाई (OCHA) ने भी पुष्टि की कि हमलों में कम से कम 39 मानवीय कर्मचारी मारे गए, जिनमें ट्रक ड्राइवर और चिकित्सा कर्मी शामिल हैं। OCHA की प्रवक्ता एरिन करेको ने कहा, 'यह न केवल दुखद है, बल्कि स्पष्ट रूप से अस्वीकार्य है। यदि राहत कर्मी भी अब सुरक्षित नहीं हैं, तो यह पूरे मानवीय ढांचे पर हमला है।'
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इजरायल ने दिया सुझाव
उन्होंने यह भी जानकारी दी कि इज़रायल ने UN को सुझाव दिया है कि गाज़ा में कुछ डिस्ट्रीब्यूशन कॉरीडोर तक पहुंच सीमित कर दी जाए, ताकि स्थिति को नियंत्रित किया जा सके। हालांकि, संयुक्त राष्ट्र इस अनुरोध की समीक्षा कर रहा है।
संयुक्त राष्ट्र की इस रिपोर्ट के बाद वैश्विक स्तर पर मानवीय संगठनों और अंतरराष्ट्रीय नेताओं की प्रतिक्रियाएं आने की संभावना है। फिलहाल यूएन सुरक्षा परिषद में इस मुद्दे पर आपात बैठक की मांग की जा रही है।