डेमोक्रेटिक रिपब्लिक के कांगो में अज्ञात बीमारी की वजह से 50 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। हाल ही के हफ्तों में ये बीमारी तेजी से फैली है। इस बीमारी के बारे में स्वास्थ्य विशेषज्ञ पता लगा रहे हैं।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने बताया है कि 16 फरवरी तक इस बीमारी से 431 लोग पीड़ित है और 53 मौतें हो चुकी हैं। ये देश पश्चिमी यूरोप के आकार का है।


WHO के प्रवक्ता तारिक जसारेविक ने मंगलवार को एक ब्रीफिंग में बताया कि कुछ ही दिनों में मामलों की संख्या में तेजी देखी गई है जिसकी वजह से ये गंभीर सार्वजनिक खतरा बन गया है। हालांकि अभी तक इसका सही कारण पता नहीं चल पाया है। उन्होंने आगे कहा, प्रभावित गांवों में स्वास्थ्य सेवाएं और निगरानी प्रणाली बहुत सीमित हैं जिस वजह से स्थिति और चुनौतीपूर्ण हो गई है।

 

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लक्षण दिखने के 48 घंटों में हुई मौतें

 

13 फरवरी तक को बसानकुसु स्वास्थ्य क्षेत्र के बोमेटे गांव से 419 लोग बीमार हो चुके हैं जिनमें से 45 की मौतें हो गई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के मुताबिक,  लगभग आधे मरीजों की मौत बीमारी के लक्षण दिखने के 48 घंटों के भीतर हो गई। इस बीमारी के लक्षणों में बुखार, दर्द, उल्टी और दस्त शामिल हैं।

 

WHO की टीम ने मरीजों का टेस्ट करवाया जिसमें से कुछ मरीज मलेरिया से संक्रमित मिले। कांगो में ये बीमारी सबसे पहले तीनों बच्चों में देखी गई थी जिन्होंने चमगादड़ खाया था।

 

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पिछले साल, कांगो के एक अन्य हिस्से में एक रहस्यमयी फ्लू जैसी बीमारी फैली, जिससे कई लोगों की मौत हो गई। शुरुआत में यह एक अज्ञात बीमारी लग रही थी लेकिन बाद में जांच में पता चला कि यह संभवत मलेरिया था