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कैसे काम करेंगे 'bank.in' और 'fin.in', यहां जानिए सभी जानकारी

RBI ने साइबर अपराध पर लगाम लगाने के लिए 2 डोमेन लॉन्च किए हैं, जिन्हें बैंक और गैर-बैंकिंग वित्तीय संस्थानों को 04 अप्रैल 2025 से लागू होंगे। जानिए ये कैसे करेंगे काम?

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RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा।(Photo Credit: PTI)

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने डिजिटल पैसों की धोखाधड़ी को रोकने और ऑनलाइन बैंकिंग को ज्यादा सुरक्षित बनाने के लिए ‘bank.in’ और ‘fin.in’ नाम के दो नए डोमेन लॉन्च करने की घोषणा की है। अप्रैल 2025 से, सभी भारतीय बैंकों को अपने मौजूदा डोमेन को ‘bank.in’ में बदलना अनिवार्य होगा, जिससे ग्राहकों को असली बैंकिंग वेबसाइटों को नकली वेबसाइटों से अलग करने में मदद मिलेगी।

 

बता दें कि ‘bank.in’ भारतीय बैंकों के लिए रहेगा, जबकि ‘fin.in’ गैर-बैंकिंग वित्तीय संस्थानों के लिए होगा। यह दोनों डोमेन मिलकर डिजिटल बैंकिंग सुरक्षा को मजबूत करने का प्रयास करेंगे।

RBI गवर्नर की घोषणा

RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा ने शुक्रवार को मॉनिटरी पॉलिसी समिति (MPC) की पहली बैठक में इस नई पहल की घोषणा की। उन्होंने कहा कि देश में डिजिटल धोखाधड़ी की घटनाओं में बढ़ोतरी हो रही है, जो सभी के लिए चिंता का विषय है।

 

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‘bank.in’ और ‘fin.in’ डोमेन कैसे काम करेंगे?

अप्रैल 2025 से सभी भारतीय बैंक अपनी वेबसाइटों के लिए ‘bank.in’ डोमेन का इस्तेमाल करेंगे। ग्राहक सिर्फ ‘bank.in’ डोमेन वाली वेबसाइटों पर जाकर यह सुनिश्चित कर सकते हैं कि वे किसी असली बैंकिंग प्लेटफॉर्म पर हैं, जिससे साइबर अपराधियों द्वारा बनाए गए नकली वेबसाइटों से बचाव हो सकेगा। वहीं गैर-बैंकिंग वित्तीय संस्थानों के लिए ‘fin.in’ डोमेन भी लॉन्च किया जाएगा, जिससे डिजिटल फाइनेंस सिस्टम में धोखाधड़ी की संभावनाएं कम होने की उम्मीद है।

भारत में बढ़ते साइबर खतरे

भारत में डिजिटल लेन-देन की लोकप्रियता बढ़ने के साथ ही साइबर धोखाधड़ी के मामले भी तेजी से बढ़े हैं। इस बीच साइबर अपराधी फर्जी वेबसाइट बनाकर ग्राहकों की गोपनीय जानकारी चुराने की कोशिश कर रहे हैं। सरकार द्वारा जारी किए गए आंकड़े में बताया गया कि वित्तीय वर्ष 2025 (सितंबर तक) में UPI धोखाधड़ी के 6.32 लाख मामले सामने आए, जिनमें ₹485 करोड़ का नुकसान हुआ। 2022-23 से अब तक UPI धोखाधड़ी के कारण ₹2,145 करोड़ का नुकसान हुआ, जिसमें 27 लाख से ज्यादा घटनाएं दर्ज की गईं। FY24 में, 13.4 लाख धोखाधड़ी के मामलों में ₹1,087 करोड़ का नुकसान हुआ।

साइबर सुरक्षा के लिए सरकार के प्रयास

डिजिटल वित्तीय धोखाधड़ी पर लगाम लगाने के लिए, सरकार द्वारा उठाए गए कदम में अबतक 6.69 लाख से ज्यादा सिम कार्ड और 1.32 लाख IMEI नंबर ब्लॉक किए गए। इसके साथ 1,700 से ज्यादा स्काइप (Skype) आईडी और 59,000 व्हाट्सएप अकाउंट बंद किए गए।

 

गृह मंत्रालय ने 9.94 लाख शिकायतों की जांच कर ₹3,431 करोड़ की धोखाधड़ी को रोकने में सफलता पाई। डिजिटल बैंकिंग को सुरक्षित बनाने के लिए RBI के अन्य कदम RBI डिजिटल भुगतान को ज्यादा सुरक्षित बनाने के लिए अन्य कई उपाय भी कर रहा है, जैसे: अंतरराष्ट्रीय कार्ड लेन-देन में अतिरिक्त सुरक्षा (AFA - Additional Factor of Authentication) की योजना बनाई जा रही है, ताकि भारतीय कार्डधारकों के लिए ऑनलाइन पैसों के लेन-देन को और सुरक्षित किया जा सके।

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