संजय सिंह, पटना: बिहार के विधानसभा चुनाव से पहले महागठबंधन में शामिल विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के मुखिया मुकेश सहनी लगातार डिप्टी सीएम पद और अपने लिए विधानसभा की 60 सीटें मांग रहे हैं। इस पर महागठबंधन में शामिल दूसरे दलों के नेताओं का कहना है कि जब तक महागठबंधन की बैठक में यह तय नहीं हो जाता है तब तक मुकेश सहनी को इस तरह का बयान सार्वजनिक रूप से नहीं देना चाहिए। ऐसे में महागठबंधन में ही टकराव बढ़ता जा रहा है। माना जा रहा है कि मुकेश सहनी इस तरह के बयान देकर बाकी पार्टियों पर दबाव बना रहे हैं।
महागठबंधन के नेताओं का यह भी कहना है कि 17 अगस्त को राहुल गांधी वोट अधिकार यात्रा के लिए बिहार आ रहे हैं। वह 1 सितंबर तक बिहार में ही रहेंगे। यात्रा में घटक दल के दूसरे नेता भी शामिल होंगे। रात्रि में भोजन के दौरान डिनर टेबल पर सीट शेयरिंग का मामला सुलझा लिया जाएगा। महागठबंधन से जुड़े कांग्रेस नेताओं का कहना है कि कांग्रेस का कोई राष्ट्रीय नेता पहली बार इतनी लंबी समय के लिए बिहार आ रहा है। पूर्व में कांग्रेस का सारा निर्णय दिल्ली में होता था। यह पहला अवसर है जब सीट शेयरिंग का मामला बिहार में ही हो जाएगा। महागठबंधन को उम्मीद है कि राहुल गांधी की वोट अधिकार यात्रा से पूरे प्रदेश में पार्टी का जनाधार बढ़ेगा।
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राहुल की यात्रा से कांग्रेस को उम्मीद
बता दें कि हाल के वर्षों में कांग्रेस पार्टी की ओर से इतना बड़ा कार्यक्रम बिहार में नहीं किया गया था। अब तक कांग्रेस दूसरे दलों के पीछे रहती थी, अब कांग्रेस के पीछे दूसरे दल आ रहे हैं, इससे जनाधार बढ़ने की उम्मीद है। वोट अधिकार यात्रा की शुरुआत सासाराम से हो रही है। यह इलाका दलितों के महानायक बाबू जगजीवन राम का रहा है। कांग्रेस में जगजीवन बाबू का कद इतना बड़ा था यह किसी से छिपा नहीं है। वोट अधिकार यात्रा के दौरान जगह जगह पर रात्रि विश्राम और भोजन की भी व्यवस्था है। उम्मीद की जा रही है कि डिनर टेबल पर सीट शेयरिंग का मामला सुलझा लिया जाएगा। सीट शेयरिंग को लेकर सबसे बड़ी समस्या कांग्रेस और राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के बीच है। आरजेडी के प्रभाव वाले कुछ सीटों पर कांग्रेस अपना उम्मीदवार देना चाहती है लेकिन आरजेडी ऐसा करने को राजी नहीं है।
महागठबंधन सूत्रों का कहना है कि सीट शेयरिंग का मामला लोकसभा सीट आधारित फार्मूले पर ही तय होगा। कुछ अपवाद सीटों को अगर छोड़ दिया जाए तो कांग्रेस, आरजेटी और लेफ्ट के बीच बात बनती दिखती है। सबसे बड़ी समस्या मुकेश सहनी की वीआईपी पार्टी को लेकर है। 60 सीटों की मांग करके मुकेश ने गठबंधन के अन्य नेताओं को सकते में डाल दिया है। ऊपर से डिप्टी सीएम की मांग सुनकर लोग हैरान हैं।
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कांग्रेस विधायक दल के नेता शकील अहमद खान का कहना है, 'महागठबंधन में अब तक सिर्फ संयोजक का पद तय हुआ है। डिप्टी सीएम का निर्णय अभी नहीं हुआ है।' भाकपा माले के सचिव कुणाल का कहना है कि चुनाव जीतने के बाद ही सीएम या डिप्टी सीएम पद का निर्णय होगा। कमोबेश ऐसी ही बातें आरजेडी प्रवक्ता चितरंजन गगन कहते हैं। उनका कहना है कि सब कुछ महागठबंधन की बैठक में तय होगा, अभी तक ऐसा कुछ हुआ नहीं है।