उन्नाव रेप मामले में दिल्ली हाई कोर्ट ने पूर्व बीजेपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की सजा को निलंबति कर दिया है। हालांकि, कोर्ट यह भी निर्देश दिया कि वह पीड़िता के घर के 5 किलोमीटर की रेंज में नहीं रह सकते हैं। कुलदीप सिंह सेंगर बीजेपी से विधायक थे लेकिन बाद में उन्हें पार्टी से निकाल दिया गया था। जस्टिस सुब्रमण्यम प्रसाद और जस्टिस हर्ष विद्यानंतन शंकर की डिवीज़न बेंच ने फैसला सुनाया।
कोर्ट ने सजा को निलंबित करते हुए कुछ शर्तें भी लगाईं। कोर्ट ने कहा कि सजा निलंबित की जा रही है लेकिन इसके लिए 15 लाख रुपये का बॉण्ड भरना होगा और कुछ शर्तों का पालन करना होगा। आदेश देते हुए कोर्ट ने कहा कि सेंगर पीड़िता के घर के 5 किलोमीटर के रेंज में नहीं आ सकते हैं। दूसरा जब तक केस चल रहा है तब तक उन्हें दिल्ली में ही रहना होगा। तीसरा पीड़िता को व उसकी मां को किसी भी प्रकार की धमकी नहीं दे सकते और अपने पासपोर्ट को उन्हें ट्रायल कोर्ट में जमा करना होगा। साथ ही स्थानीय पुलिस थाने में हर सोमवार को सुबह 10 बजे रिपोर्ट करना होगा।
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क्या था मामला
कुलदीप सिंह सेंगर के ऊपर आरोप है कि उन्होंने पीड़िता का रेप किया और पुलिस के साथ मिलकर उसके पिता की हत्या भी कर दी। इसके बाद उन्हें आजीवान कारावास की सजा सुना दी गई। बाद में सुप्रीम कोर्ट ने पीड़िता की अपील पर मामले को तीस हजारी कोर्ट में ट्रांसफर कर दिया था।
इसी साल की शुरुआत में सेंगर को मोतियाबिंद के इलाज के लिए अंतिरम जमानत दी गई थी। उनके मोतियाबिंद का ऑपरेशन दिल्ली एम्स में हुआ था। इसी तरह से पिछले साल दिसंबर में भी उन्हें इसी तरह का ग्रांट दिया गया था।
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ट्रांसफर किया था केस
सुप्रीम कोर्ट ने पीड़िता द्वारा तत्कालीन चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया रंजन गोगोई को लिखे पत्र का संज्ञान लिया था और लखनऊ कोर्ट से मामले से जुड़े सभी पांचों केस को दिल्ली ट्रांसफर कर दिया था, साथ ही यह भी निर्देश दिया था कि मामले की रोज सुनवाई की जाए ताकि इसे 45 दिनों के भीतर पूरा किया जा सके।