दिल्ली से बिहार शिफ्ट हुआ चुनाव, क्या हैं जदयू-बीजेपी और RJD के इशारे?
दिल्ली में चुनावी सर्गिमियां थमने के बाद बिहार विधानसभा चुनाव की तैयारियों को धार दिया जाने लगा है। राजद, जेडीयू और बीजेपी जनता के बीच जाकर अपने मुद्दे समझाने लगी हैं।

बिहार विधानसभा चुनाव। Photo Credit- PTI
राजधानी दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी 70 में से 48 सीटें हासिल करके चुनाव जीत चुकी है। आम आदमी पार्टी 22 सीटों पर सिमटकर विधानसभा चुनाव हार चुकी है। अब कवायद राजधानी का नया मुख्यमंत्री चुनने की हो रही है। कुछ ही दिनों में दिल्ली को अपना नया मुख्यमंत्री मिल जाएगा। कुल मिला कर दिल्ली में चुनाव सिमट चुका है।
राजनीतिक पार्टियों, मीडिया और राजनीतिक पंडितों का पूरा ध्यान बिहार की तरफ मुड़ गया है। बिहार की तीनों बड़ी पार्टियां राष्ट्रीय जनता दल, भारतीय जनता पार्टी और जनता दल यूनाइटेड की राज्य में सियासी सक्रियता तेज हो गई है।
बिहार चुनाव को लेकर नीतीश हुए सक्रिय
बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर तैयारी तो धार देते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार लगातार प्रगति यात्रा के तहत जनता के बीच जा रहे हैं। प्रगति यात्रा के दौरान ही अलग-अलग जिलों में हजारों करोड़ों रुपये की विकासात्मक योजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास कर रहे हैं।
‘प्रगति यात्रा’ के दौरान नवादा में विभिन्न विभागों द्वारा किए जा रहे विकास कार्यों की प्रगति की समीक्षा की। बैठक में योजनाओं के क्रियान्वयन एवं संबंधित समस्याओं पर चर्चा हुई। बैठक में जनप्रतिनिधियों द्वारा भी अपने-अपने क्षेत्र की समस्याएं रखी गईं। सभी समस्याओं के यथाशीघ्र समाधान… pic.twitter.com/A11FQq2XXt
— Nitish Kumar (@NitishKumar) February 10, 2025
सीएम नीतीश के आधिकारिक एक्स हैंडल पर जाने के बाद देखने को मिलता है कि वह रोजाना 'प्रगति यात्रा' के तहत विभिन्न जिलों का दौरा कर रहे हैं। इसके साथ ही वह सरकारी विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक करके विकास वाली योजनाओं को जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश दे रहे हैं।
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पीएम नरेंद्र मोदी ने फूंका बिगुल
ऊधर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी बिहार विधानसभा चुनाव के लिए बिगुल फूंक दिया है। 1 फरवरी को पेश किए गए बजट में बिहार के लिए केंद्र सरकार ने अपना पिटारा खोल दिया है। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2025 में बिहार को कई सौगातें दीं। इनमें ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट, मखाना बोर्ड का गठन, राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी संस्थान, आईआईटी पटना का विस्तार आदि शामिल हैं।
संसद में बिहार के NDA दलों के सांसदों ने प्रधानमंत्री श्री @narendramodi जी से भेंट कर मिथिला की समृद्ध परंपरा के प्रतीक पाग, विश्व प्रसिद्ध मखाना और अद्वितीय मधुबनी पेंटिंग भेंट की। यह सिर्फ उपहार नहीं, बल्कि बिहार की सांस्कृतिक पहचान और गौरव का प्रतीक है।#BiharkiNDAsarkar… pic.twitter.com/cswoydkvXw
— BJP Bihar (@BJP4Bihar) February 7, 2025
बिहार को सौगात
बजट में बिहार को कई सौगातें मिलने के बाद बिहार एनडीए के सभी नेताओं ने प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात की। इस दौरान संसद भवन में बिहार एनडीए के सभी सांसदों ने केंद्रीय बजट में बिहार को विशेष सौगात देने के लिए प्रधानमंत्री को बधाई दी। पीएम ने इस दौरान सांसदों के साथ फोटो खिंचवा के इसे शेयर किया। इससे उन्होंने बिहार चुनाव में एक साथ लड़ने का संदेश दे दिया।
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दूसरी तरफ राष्ट्रीय जनता दल (RJD) की बिहार में सक्रियता पहले से ही मौजूद है। राजद नेता तेजस्वी यादव लगातार जिलों का दौरा कर रहे हैं। वह लोगों से सीधा संवाद कर रहे हैं। राजद 'बिहार को अब युवा नेतृत्व चाहिए। तेजस्वी है सही।' नारे के साथ तेजस्वी के नेतृत्व में जनता को विकास करने का विश्वास दिला रही है।
तेजस्वी की तैयारियां तेज, केंद्र में जनता
बिहार से अंधेरे को मिटाने के लिए तेजस्वी आ रहे हैं। इस नारे का साथ में राजद ने बिहार की जनता से वादा किया है कि आरजेडी की सरकार बनने पर हर घर को 200 यूनिट बिजली बिल्कुल मुफ्त दी जाएगी। इसके बाद पार्टी की ओर से एक और नारा दिया गया है, 'हर वादा पूरा होगा, तेजस्वी का वादा है।'
बिहार में व्यापक पैमाने पर उद्योग धंधे लगाने में व्यवधान है?
— RJD Bhagalpur (@Rjd_Bhagalpur) February 8, 2025
चिंता की बात नहीं!#तेजस्वी_सरकार बनेगी तो समाधान ही समाधान है!@yadavtejashwi pic.twitter.com/M5dy83zDqM
इसके अलावा राजद बिहार में नई सरकारी नौकरियां, सरकार बनने पर नए उद्योग धंधे लगाने, दिव्यांग और महिलाओं को आर्थिक सुरक्षा, अपराध का समाधान जैसी कई योजनाओं का ऐलान कर चुकी है। इसको लेकर पार्टी अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लगातार पोस्ट डाल रही है।
चिराग-मांझी भी पीछे नहीं
इसके अलावा, कांग्रेस, केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान की लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास), केंद्रीय मंत्री जीतनराम मांझी की हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा, मुकेश सहनी की वीआईपी, पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस की एलजेपी और लेफ्ट की पार्टियां भी अपनी-अपनी रणनीति बनाने में जुट गए हैं।
बता दें कि बिहार में इस साल अक्टूर के महीने में विधानसभा चुनाव हो सकते हैं। बिहार में साल 2005 से लगातार नीतीश कुमार सीएम के पद पर काबिज हैं। हालांकि, इस अवधि के दौरान कुछ समय के लिए उन्होंने जीतन राम मांझी को भी सत्ता सौंप दी थी। जिन्हें बाद में हटा दिया गया था।
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