logo

ट्रेंडिंग:

न शाही स्नान, न खास तिथि, प्रधानमंत्री ने क्यों चुना 5 फरवरी का दिन

महाकुंभ में 5 फरवरी के दिन प्रधानमंत्री मोदी स्नान करेंगे। आइए जानते हैं क्या है इस तिथि का महत्व।

Image Of Modi in Kumbh

2019 कुंभ में स्नान करते पीएम मोदी।(Photo Credit: PTI File Photo)

महाकुंभ में शाही स्नान को सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, कुंभ मेले में शाही स्नान करने से व्यक्ति के सभी पाप दूर हो जाते हैं। प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ में लाखों कि संख्या में श्रद्धालु रोज डुबकी लगा रहे हैं। श्रद्धालुओं के साथ-साथ नेता और वीआईपी भी कुंभ में स्नान के लिए प्रयागराज पहुंच रहे हैं। इसी बीच रिपोर्ट आई है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी त्रिवेणी संगम में स्नान करने के लिए प्रयागराज आएंगे। वह 5 फरवरी को कुंभ में स्नान करेंगे। हालांकि, इस दिन कोई शाही स्नान नहीं है। ऐसे में आइए जानते हैं प्रधानमंत्री ने 5 फरवरी का दिन क्यों चुना।

5 फरवरी का दिन क्यों है खास?

वैदिक पंचांग के अनुसार, 5 फरवरी के दिन माघ शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि है और इस दिन गुप्त नवरात्रि पर्व का दुर्गाष्टमी व्रत रखा जाएगा। इस दिन को पूजा-पाठ के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है। मान्यता है कि इस विशेष दिन पर पवित्र स्नान करने से और धार्मिक अनुष्ठान में हिस्सा लेने से व्यक्ति को विशेष लाभ प्राप्त होता है।

 

यह भी पढ़ें: महाकुंभ: विशेष स्नान में पहला नंबर साधुओं का क्यों होता है? वजह जानिए

 

बता दें कि गुप्त नवरात्रि साल में दो बार आती है, एक माघ महीने में और आषाढ़ में। नवरात्रि के इन 9 दिनों को गुप्त साधनाओं और तंत्र साधना के लिए महत्वपूर्ण मानी जाती है। गुप्त नवरात्रि की अष्टमी तिथि को विशेष महत्व दिया जाता है क्योंकि यह दिन मां दुर्गा के अष्टम रूप महागौरी की पूजा और तंत्र साधना के लिए अत्यधिक शुभ माना गया है।

गुप्त नवरात्रि में देवी महागौरी की पूजा का महत्व

गुप्त नवरात्रि की अष्टमी तिथि पर महागौरी की आराधना की जाती है। महागौरी को शांति, पवित्रता और सुख-समृद्धि की प्रतीक माना जाता है। उनकी पूजा से व्यक्ति को मानसिक शांति और आत्मिक शुद्धि मिलती है। वह अपने भक्तों की सभी बाधाओं को दूर करती हैं और जीवन में सुख-शांति प्रदान करती हैं। गुप्त नवरात्रि का मुख्य उद्देश्य तंत्र और गुप्त साधनाओं को बढ़ावा देना है।

 

अष्टमी तिथि को साधक विशेष मंत्रों का जाप करते हैं और देवी की कृपा पाने के लिए तांत्रिक विधियों का सहारा लेते हैं। यह दिन उन लोगों के लिए विशेष होता है, जो अपने जीवन की समस्याओं को हल करने के लिए गुप्त साधनाओं में रुचि रखते हैं। गुप्त नवरात्रि की अष्टमी पर मंत्र शक्ति और सिद्धि प्राप्त करने का प्रयास किया जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की भी पूजा की जाती है। ऐसा माना जाता है कि अष्टमी पर विधिपूर्वक पूजा करने से घर में धन और वैभव का आगमन होता है।

 

Disclaimer- यहां दी गई सभी जानकारी सामाजिक और धार्मिक आस्थाओं पर आधारित हैं। Khabargaon इसकी पुष्टि नहीं करता।

शेयर करें

संबंधित खबरें

Reporter

और पढ़ें

design

हमारे बारे में

श्रेणियाँ

Copyright ©️ TIF MULTIMEDIA PRIVATE LIMITED | All Rights Reserved | Developed By TIF Technologies

CONTACT US | PRIVACY POLICY | TERMS OF USE | Sitemap