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नाबालिग के साथ 2 सिक्योरिटी गार्ड ने किया दुष्कर्म, छोटी बहन ने बचाया

आगरा में नाबालिग लड़की से सामूहिक बलात्कार के आरोप में 2 लोग गिरफ्तार। दोनों भाई थे और एक निजी फर्म के साथ सिक्योरिटी गार्ड के रूप में काम करते थे।

agra rape case

सांकेतिंक तस्वीर, Photo Credit: Pixabay

आगरा पुलिस ने मंगलवार दोपहर को सुरक्षा गार्ड के तौर पर काम करने वाले दो भाइयों को गिरफ्तार किया है। दोनों पर 14 साल की नाबालिग लड़की के साथ उसके घर में दुष्कर्म करने का आरोप है।

 

बताया जा रहा है कि पीड़िता की 6 साल की बहन घर से चिल्लाते हुए बाहर भागी जिसके बाद पड़ोसियों ने लड़की को बचाया। पुलिस ने कहा कि 24 और 22 साल के दोनों आरोपियों ने दोपहर के समय लड़की और उसकी 6 साल की बहन को स्कूल से घर लौटते देखा। 

 

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पतला कपड़ा ठूंसकर रसोई में दुष्कर्म

आरोपियों ने बच्चियों से कहा कि वह उनके पिता को जानते है और उन्हें भूख लगी है। ऐसे में लड़की दोनों को अपने साथ घर ले गई। स्थानीय पुलिस स्टेशन के प्रभारी अधिकारी ने कहा, 'जब घर पहुंचे तो आरोपियों को पता चला कि घर में कोई और नहीं था क्योंकि लड़कियों के माता-पिता और बड़ा भाई काम पर गए हुए थे। इसके बाद उन्होंने लड़की के मुंह में पतला कपड़ा ठूंसकर रसोई में उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म किया। घटना के समय दोनों नशे में थे। 

 

इसी बीच पीड़िता की बहन रसोई में गई और अपनी बहन को मुसीबत में देख घर से बाहर चिल्लाते हुए भागी। गुस्साए पड़ोसियों ने घर पर धावा बोला और आरोपियों की पिटाई की और फिर उन्हें पुलिस के हवाले कर दिया। पीड़िता ने अपने बयान में कहा कि आरोपी ने घर पहुंचने पर पानी मांगा और उसके साथ यौन उत्पीड़न करने से पहले शराब पी।

 

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फर्रुखाबाद जिले के दोनों आरोपी 

अधिकारी ने कहा, 'दोनों भाई फर्रुखाबाद जिले के रहने वाले हैं। पीड़िता के बयान के आधार पर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है और उन पर भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 70 और यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण (POCSO) अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।'

 

आगरा के पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) सूरज कुमार राय ने कहा कि लड़की की मेडिकल जांच रिपोर्ट मिलने के बाद प्राथमिकी में और धाराएं जोड़ी जाएंगी। उन्होंने कहा, 'हम सुनिश्चित करेंगे कि लड़की को एक महीने के भीतर न्याय मिले और जांच अधिकारी से जल्द से जल्द आरोप पत्र दाखिल करने को कहेंगे। हमारे पास आरोपियों के खिलाफ पुख्ता सबूत हैं।'

 

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अस्पताल पर आरोप 

इससे पहले, लड़की के पिता ने दावा किया था कि उनकी पत्नी और बेटी को मेडिकल जांच के लिए स्थानीय सरकारी अस्पताल में छह घंटे से अधिक समय तक इंतजार करना पड़ा क्योंकि वहां कोई डॉक्टर मौजूद नहीं था। आगरा के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) अरुण श्रीवास्तव ने कहा, 'मैं आरोपों की जांच करूंगा। अगर शिकायत सही पाई गई तो निश्चित रूप से कार्रवाई की जाएगी।'

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