गोवा के अरपोरा इलाके में शनिवार रात 7 दिसंबर को एक नाइट क्लब में सिलेंडर ब्लास्ट होने से करीब 25 लोगों की मौत हो गई, जबकि 6 लोग गंभीर रूप से घायल हैं। मृतकों में 4 टूरिस्ट और 14 स्टाफ शामिल हैं, जबकि 7 लोगों की पहचान अभी नहीं हो पाई है। घटना के बाद गोवा पुलिस ने कार्रवाई करते हुए क्लब के मैनेजर को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस के अनुसार, क्लब में सिलेंडर ब्लास्ट रात करीब 12 बजे हुआ। हादसे के बाद पूरे मामले की जांच जारी है। चश्मदीदों के मुताबिक, वहां जरूरत से ज्यादा भीड़ होने के कारण हादसा इतना भयावह हो गया।
घटना की जानकारी मिलते ही राज्य के सीएम प्रमोद सावंत और विधायक माइकल लोबो मौके पर पहुंचे। सीएम ने बताया कि 3 लोगों की मौत जलने और बाकी की मौत दम घुटने से हुई है। सीएम ने लोगों को भरोसा दिया कि हादसे की पूरी जांच होगी और दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
यह भी पढ़ें- 'महबूबा, महबूबा' पर डांस, थिरकते लोग, फिर अचानक लगी आग, गोवा हादसे की पूरी कहानी
सीढ़ियों पर मिले शव
गोवा के DGP आलोक कुमार ने बताया कि 25 लोगों के शव अब तक बरामद किए जा चुके हैं। मरने वालों में क्लब में काम करने वाले कर्मचारी की संख्या ज्यादा थे। DGP ने बताया कि आग सबसे पहले ग्राउंड प्लोर में बनीं रसोई में लगी जिसके बाद क्लब के दूसरे हिस्सों में आग फैल गई। यही कारण है कि सबसे ज्यादा शव किचन एरिया से मिले हैं।
मृतक के परिवार का बयान
गोवा क्लब में आग लगने के शिकार व्यक्ति के एक फैमिली फ्रेंड ने कहा, 'वह वहां शेफ का काम करता था। सुबह करीब 4 बजे, मुझे मेरे परिवार वालों का फोन आया। मुझे कोई अंदाजा नहीं था कि क्या हुआ था। मैंने सबसे पहले घटना के बारे में सुबह करीब 1:30 बजे न्यूज देखी। वह अब नहीं रहा। मैं उसे सिर्फ उसके चेहरे से पहचान सका। न तो मैनेजमेंट और न ही मालिक यहां मौजूद हैं।'
चश्मदीदों का बयान
इस घटना के बाद एक चश्मदीद ने पूरे घटना के बारे में बताया। चश्मदीद फातिमा शेख की मानें तो आग लगते ही अंदर जोरदार भगदड़ मच गई। उस समय क्लब में पार्टी चल रही थी और उस समय करीब 100 लोग डांस फ्लोर पर थे। जैसे ही धुआ और लपटें दिखी, कई लोग घबराकर नीचे की ओर भागे और गलती से ग्राउंड फ्लोर के किचन में पहुंच गए। उन्होंने बताया, 'बाहर निकलने का रास्ता बहुत संकरा था जिससे लोग बाहर नहीं निकल पाए। कुछ ही मिनटों में पूरा क्लब आग की लपटों में घिर गया। वहां पाम लीव्स से सजावट की गई थी जो तुरंत जल गई। कई लोग जैसे-तैसे बाहर निकले लेकिन कुछ लोग अंदर ही रह गए।'
यह भी पढ़ें- ऑफिस के बाद बॉस ने कॉल किया तो क्या होगा? सुप्रिया सुले के बिल की ABCD
एक और चश्मदीद ने कहा, हम अभी-अभी अपने होटल में पहुंचे थे कि हमें लाल-लाल लपटें निकलती दिखाई दी। जब हमने जाकर देखा तो पुलिस पहले से ही मौके पर मौजूद थी और स्थिति को संभाल रही थी।
एक स्थानीय व्यक्ति ने कहा कि हम नजदीक में ही थे लेकिन हमने रात को नहीं देखा। लगभग 12 बजे की घटना बताई जा रही है लेकिन उस समय हमें पता नहीं चला। मैंने आज सुबह खबर देखी और तुरंत यहां पहुंचा। पिछली रात हमें बहुत तेज सायरन की आवाज सुनाई दी लेकिन हमें समझ नहीं आया कि हुआ क्या। उन्होंने कहा कि मुझे लगा कुछ हुआ होगा वहीं पता करने यहां आया था। यहां आकर पता चला कि इतनी बड़ी त्रासदी हो गई है।