हैदराबाद के लग्जरी कार डीलर बशारत खान को डायरेक्टोरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस (DRI) ने 100 करोड़ रुपये की कस्टम ड्यूटी धोखाधड़ी के मामले में गिरफ्तार किया है। बशारत खान, गचीबाउली में 'कार लाउंज' शोरूम के मालिक है। वह अमेरिका और जापान से हाई-एंड गाड़ियों को इम्पोर्ट करने के लिए फर्जी डॉक्यमेंट्स और कम कीमत दिखाकर कस्टम ड्यूटी से बचने की कोशिश करता था।
DRI की जांच में पता चला कि खान ने करीब 30 लग्जरी गाड़ियां जैसे- रोल्स-रॉयस, हमर ईवी, कैडिलैक एस्केलेड, लेक्सस, टोयोटा लैंड क्रूजर और लिंकन नेविगेटर, इम्पोर्ट कीं। इन गाड़ियों को दुबई और श्रीलंका के रास्ते लाया गया, जहां उन्हें लेफ्ट-हैंड ड्राइव से राइट-हैंड ड्राइव में बदला गया। खान ने खुद 8 गाड़िया इम्पोर्ट कीं, जिससे 7 करोड़ रुपये से अधिक की कस्टम ड्यूटी की चोरी हुई।
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कैसे करता था टैक्स चोरी?
विदेश से कोई भी सामान मंगाने पर कस्टम ड्यूटी चुकानी पड़ती है। बशारत खान फर्जी कागज के जरिए गाड़ियों की कीमत काफी कम करके दिखाता था। इसका फायदा उसे यह होता था कि कस्टम ड्यूटी कम चुकानी पड़ती थी। उदाहरण के लिए अगर 1 करोड़ की कार पर 10 लाख की कस्टम ड्यूटी चुकानी हो तो बशारत उस कार की कीमत ही 50 लाख दिखा देता था। इस स्थिति में उसे सिर्फ 5 लाख ही कस्टम ड्यूटी चुकानी पड़ती थी। उसके तो 5 लाख रुपये बच जाते लेकिन सरकार को 5 लाख का चूना लग जाता है। इस तरह से उसने 10 साल में लगभग 100 करोड़ रुपये की कस्टम ड्यूटी की चोरी की है।
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सूरत से गिरफ्तार बशारत खान
खान को सूरत में गिरफ्तार किया गया और अहमदाबाद की एक विशेष अदालत में पेश करने के बाद ज्यूडिशियल कस्टडी में भेज दिया गया है। उनके शोरूम में गाड़ियों को मॉडिफाई करने की वर्कशॉप भी थी। खान का नेटवर्क हैदराबाद, मुंबई, पुणे, अहमदाबाद, बेंगलुरु और दिल्ली तक फैला था।
DRI ने बताया कि खान ने कई प्रभावशाली राजनेताओं से कनेक्शन बनाए और उन्हें गाड़ियां बेची, जिनमें से कई ने टैक्स बचाने के लिए नकद भुगतान किया। जांच में उनके पार्टनर डॉ. अहमद का भी नाम आया, जिनके फार्महाउस में कई आयतित गाड़ियां रखी गई थीं। DRI अब खान के ग्राहकों की पहचान कर रही है, जिनमें से 10 गाड़ियां पहले ही बिक चुकी हैं। इस मामले में और गिरफ्तारियां हो सकती हैं।
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10 साल से चला रहा था कारोबार
पिछले 10 साल से हैदराबाद में लग्जरी कार शोरूम चला रहे बशारत ने अपने कारोबार की शुरुआत मिड-रेंज गाड़ियों से की थी। जैसे-जैसे उनके राजनीतिक संपर्क मजबूत होते हए, उनका बिजनेस भी उसी तेजी से फलता-फूलता गया। बशारत ने धीरे-धीरे नेताओं और अन्य वीआईपी ग्राहकों को हाई-एंड वाहनों की बिक्री शुरू कर दी। बताया जा रहा है कि वह दिल्ली से आने वाले नेताओं के लिए भव्य पार्टियों का भी आयोजन करता था।