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बच्चों को कार में छोड़ना हो सकता है जानलेवा, इन बातों का रखें ध्यान

बंद कार में बच्चों को छोड़ना कई बार मुसीबत बन सकती है। जानते हैं इनसे बचने के टिप्स और ध्यान रखने वाली बातें।

Image of Car parked

सांकेतिक चित्र(Photo Credit: Canva Image)

रविवार को आंध्र प्रदेश के विजयनगरम जिले के द्वारापुडी गांव में एक दर्दनाक घटना सामने आई, जहां चार मासूम बच्चों की एक बंद कार में दम घुटने से मौत हो गई। जानलेवा हो सकती है। ये बच्चे खेलने के दौरान एक पार्क की गई कार में जा बैठे थे और कार के दरवाजे अंदर से लॉक हो गए, जिससे वे बाहर नहीं निकल सके। ध्यान देने वाली बात यह है कि सभी बच्चों की उम्र 10 साल से कम थी। जब सुबह तक बच्चे नहीं मिले तो बच्चों के माता-पिता ने खोज शुरू की। इसके बाद सभी बच्चे स्थानीय महिला मंडली ऑफिस के पास खड़ी कार में मृत अवस्था में मिले। इससे पहले ऐसी एक घटना सामने आई थी, जहां तेलंगाना के रंगा रेड्डी जिले में कार में दम घुटने से दो बच्चियों की मौत हो गई थी। अब सवाल उठता है कि ऐसी कौन-कौन सी गलतियां हैं, जिनसे जिस वजह से कार बच्चों के लिए जानलेवा हो सकती है।

ऐसी घटनाएं जानलेवा क्यों बन जाती हैं?

गर्मी और हवा की कमी:

जब कार को बंद कर दिया जाता है, तो उसमें ऑक्सीजन का स्तर धीरे-धीरे कम होने लगता है। साथ ही, धूप में खड़ी कार का अंदरूनी तापमान कुछ ही मिनटों में बहुत ज्यादा हो जाता है। इससे शरीर को ठंडा रखने की प्रक्रिया बिगड़ जाती है और बच्चों को सांस लेने में दिक्कत होने लगती है।

 

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बच्चों की समझ की कमी:

छोटे बच्चों को यह समझ नहीं होती कि बंद कार में कितनी देर तक रहना खतरनाक हो सकता है। वह दरवाजा खोलने या बंद कार में मदद के लिए आवाज लगाने में भी सक्षम नहीं होते।

कार लॉक हो जाना:

कई कारों में दरवाजा अपने-आप लॉक हो जाता है या अंदर से लॉक करने पर बाहर से नहीं खुलता। ऐसे में फंसे व्यक्ति के लिए निकलना नामुमकिन हो जाता है, खासकर बच्चों के लिए।

तेज आवाज:

बंद कार में बच्चों की आवाज बाहर तक नहीं पहुंचती, जिससे किसी को उनके अंदर होने की भनक नहीं लगती।

इससे कैसे बचा जाए?

बच्चों को अकेले न छोड़ें:

कभी भी बच्चों को अकेले कार में न छोड़ें, चाहे कुछ ही मिनटों के लिए क्यों न हो। वह समय भी जानलेवा साबित हो सकता है।

कार लॉक करने से पहले जांच करें:

कार लॉक करने से पहले हमेशा यह जांच कर लें कि अंदर कोई बच्चा या पालतू जानवर तो नहीं है।

बच्चों को सतर्क करें:

बच्चों को यह सिखाएं कि कार कोई खेलने की जगह नहीं है। उन्हें बंद जगहों में न जाने की समझ उम्र के अनुसार दें। साथ ऐसी स्थिति के लिए उन्हें पहले से तैयार करें। बच्चों के उम्र के हिसाब से उन्हें बताएं कि कार को अनलॉक कैसे करते है।

 

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पार्क की गई कार की निगरानी:

अगर आपके आसपास कोई कार लंबे समय से खड़ी है, तो उसमें झांककर देखें कि कहीं कोई बच्चा फंसा हुआ तो नहीं।

कार में चेतावनी अलार्म:

नई तकनीक से लैस कारों में बच्चे या वस्तु को अंदर छोड़ देने पर चेतावनी देने वाले सेंसर आ चुके हैं। यह सेंसर एक रडार सिस्टम है जो बच्चों या वस्तुओं की मौजूदगी का पता लगा सकता है और अलार्म या संदेश भेज सकता है।

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