जापान की सत्तारूढ़ पार्टी ने शनिवार को पूर्व आर्थिक सुरक्षा मंत्री साने ताकाइची को अपना नया नेता चुन लिया। इसके साथ ही जापान की पहली महिला प्रधानमंत्री बनने की संभावना बढ़ गई है। साने ताकाइची ने लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी द्वारा कराए गए अंतर-दलीय मतदान में कृषि मंत्री शिंजिरो कोइज़ुमी को हराया।
लैंगिक समानता के लिए संघर्षरत जापान में ताकाइची की जीत ऐतिहासिक मानी जा रही है। ताकाइची (64 साल) ने पूर्व प्रधानमंत्री जुनिचिरो कोइज़ुमी के बेटे और कृषि मंत्री शिंजिरो कोइज़ुमी को दूसरे दौर के मतदान में हराया।
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शिगेरु इशिबा की जगह लेंगी
लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी बड़ी चुनावी हार के बाद जनता का विश्वास हासिल करने की कोशिश में निवर्तमान प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा की जगह लेंगी। निचले सदन में पार्टी जापान की सबसे बड़ी पार्टी बनी हुई है, जिससे विभाजित विपक्ष के बावजूद उनके प्रधानमंत्री बनने का रास्ता साफ हो गया है।
सांसदों और समर्थकों का अभार जताया
अपनी जीत की घोषणा के बाद साने ताकाइची ने साथी सांसदों को और अपने समर्थकों का धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा, 'मैंने लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी के लिए इतिहास रच दिया है। मुझे अभी खुशी नहीं हो रही है, बस आगे आने वाली चुनौतियों का बोझ है जिनका मुझे सभी की मदद से सामना करना होगा।'
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बता दें कि जापान में अक्टूबर के मध्य में संसदीय चुनावों के लिए वोटिंग होगी। मतदान से बाद ताकाइची के प्रधानमंत्री पद पर औपचारिक रूप से मुहर लगने की उम्मीद है।
साने ताकाइची कौन हैं?
- साने ताकाइची ने पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे के कार्यकाल में प्रमुख कैबिनेट पदों पर काम कर चुकी हैं। उन्होंने जापान के आर्थिक लचीलापन और प्रौद्योगिकी सुरक्षा नीतियों को आकार दिया।
- ताकाइची को शिंजो आबे का शिष्य माना जाता है। ताकाइची, शिंजो आबे के राष्ट्रवादी विचारों और जापान की सेना को मजबूत करने के उनके दृष्टिकोण से सहमत रही हैं।
- ताकाइची चीन के प्रति अपने कठोर रुख और टोक्यो के यासुकुनी तीर्थस्थल की नियमित यात्राओं के लिए जानी जाती हैं। यह तीर्थस्थल जापान के युद्ध में मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि देता है और अक्सर पड़ोसी देशों को नाराज करता है।