शरीर के लिए विटामिन डी बहुत महत्वपूर्ण होता है। दुनियाभर में 1 बिलियन से ज्यादा लोग इस विटामिन की कमी से जूझ रहे हैं। Cohort की स्टडी के मुताबिक हर 5 में से 1 व्यक्ति विटामिन डी की कमी से जूझ रहे हैं। विटामिन डी की कमी की वजह से बच्चों में रिकेट्स, ऑस्टियोमैलेशिया, ऑस्टियोपोरोसिस जैसी गंभीर बीमारियां हो सकती हैं।
विटामिन डी शरीर में कैल्शियम और फॉस्फेट को अब्जॉर्ब करने में मदद करता है जो हड्डियों, मसल्स और इम्यूनिटी को मजबूत करने में मदद करता है। इसकी कमी को पूरा करने के लिए प्राकृतिक चीजों का सेवन करते हैं। इसके अलावा कुछ लोग विटामिन डी को कमी को पूरा करने के लिए टैबलेट्स, सैचेट्स (पाउडर) और इंजेक्शन का सहारा लेते हैं। Cleveland Clinic Journal of Medicine 2022 की रिपोर्ट में बताया गया था कि किस व्यक्ति को किस रूप में विटामिन डी लेना चाहिए।
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विटामिन डी की टैबलेट्स
ज्यादातर लोग विटामिन डी की कमी को पूरा करने के लिए टैबलेट्स खाते हैं। यह टैबलेट उन लोगों को लेना चाहिए जिन्हें विटामिन डी की थोड़ी बहुत कमी होती है। इसकी टैबलेट्स आसानी से मार्केट में मिलती है। इन टैबलेट्स को रोजाना खाना होता है। उन लोगों को विटामिन डी की टैबलेट्स नहीं लेनी चाहिए जिन्हें Crohn या Celiac बीमारी हो। विटामिन डी की टैबलेट्स उन लोगों को नहीं लेना चाहिए जिन्हें पाचन संबंधी परेशानियां रहती है।

विटामिन डी का पाउडर
पाउडर में विटामिन डी की मात्रा ज्यादा होती है। इस पाउडर वाले मिश्रण को पानी में मिलाकर हफ्ते में एक बार पीना होता है। पाउडर शरीर में कम समय में विटामिन डी की कमी को पूरा करता है। यह उन लोगों को भी दिया जाता है जिन्हें पाचन संबंधी परेशानियां होती है।
पाउडर के रूप में विटामिन डी उन लोगों को नहीं लेना चाहिए जिन्हें किडनी संबंधी बीमारी है। गर्भवती या स्तनपान करने वाली महिलाओं को डॉक्टर की सलाह पर ही पाउडर वाला विटामिन डी लेना चाहिए।
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विटामिन डी इंजेक्शन
विटामिन डी का इंजेक्शन बिना डॉक्टर की सलाह के उपयोग नहीं करना चाहिए। महीने में एक बार विटामिन डी के इंजेक्शन का इस्तेमाल किया जाता है। जिन लोगों को विटामिन डी की अत्यधिक कमी होती है उन्हें इंजेक्शन लेने की सलाह दी जाती है।

किन लोगों को इंजेक्शन लेने से बचना चाहिए
- जिन लोगों को विटामिन डी की कमी नहीं है उन्हें इंजेक्शन नहीं लेना चाहिए।
- जो महिलाएं मां बनने की कोशिश कर रही हैं उन्हें बिना डॉक्टर की सलाह के इंजेक्शन नहीं लेने चाहिए।
विटामिन डी का सप्लीमेंट अपने स्वास्थ्य के हिसाब से लेना चाहिए। स्वस्थ बच्चे और व्यस्कों को विटामिन डी की टैबलेट्स लेनी चाहिए। पाउडर उन लोगों के लिए अच्छा है जिन्हें एक दम से विटामिन डी की कमी को पूरा करना है या फिर उन्हें पाचन संबंधी परेशानी है। जबकि डॉक्टर्स इंजेक्शन देने से तब तक बचते हैं जब तक स्थिति गंभीर ना हो। डॉक्टर से बिना लिए किसी भी तरह का ट्रीटमेंट ना लें।