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BJP पर फिर वोट चोरी का लगाया आरोप, राहुल बोले- कानून बदलकर EC पर कार्रवाई करेंगे

राहुल गांधी ने एक बार फिर से बीजेपी सरकार पर वोट चोरी का आरोप लगाया है और कहा कि यह सत्य और असत्य के बीच की लड़ाई है।

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राहुल गांधी । Photo Credit: PTI

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राजधानी दिल्ली के ऐतिहासिक रामलीला मैदान में रविवार को कांग्रेस पार्टी ने एक बड़ी रैली का आयोजन किया, जिसका नाम रखा गया 'वोट छोड़ गद्दी छोड़'। इस सभा में पार्टी के शीर्ष नेताओं ने केंद्र की बीजेपी सरकार पर तीखे हमले बोले, खासतौर पर चुनावी प्रक्रिया में कथित अनियमितताओं और 'वोट चोरी' के मुद्दे को केंद्र में रखा। कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह पर सीधा निशाना साधा, दावा किया कि उनका आत्मविश्वास अब डगमगा रहा है और वे जानते हैं कि उनकी कथित गड़बड़ियां उजागर हो चुकी हैं। इस रैली में हजारों समर्थकों की भीड़ जमा हुई।

 

राहुल गांधी के भाषण ने रैली को सबसे ज्यादा सुर्खियां दीं। उन्होंने तीन मुख्य मुद्दों पर जोर दिया। सबसे पहले, उन्होंने चुनाव आयोग के अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाए। राहुल ने नाम लेकर कहा कि मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार, सुखबीर सिंह संधू और विवेक जोशी बीजेपी के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। उन्होंने दावा किया कि प्रधानमंत्री ने इन अधिकारियों की रक्षा के लिए कानून में बदलाव किए हैं, लेकिन कांग्रेस सत्ता में आने पर इस कानून को पलट देगी और इनके खिलाफ कार्रवाई करेगी। राहुल ने जोर देकर कहा कि ये अधिकारी भारत के चुनाव आयुक्त हैं, न कि बीजेपी के। उन्होंने कहा कि जब मैंने चुनाव आयोग से जवाब मांगा तो उन्होंने जवाब नहीं दिया और अमित शाह ने बाद में सदन में कांपते हाथों ने उनकी सफाई दी।

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मोहन भागवत पर साधा निशाना

दूसरे, उन्होंने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के एक हालिया बयान का हवाला दिया, जिसमें भागवत ने कहा था कि दुनिया सत्य से ज्यादा शक्ति को महत्व देती है। राहुल ने इसे आरएसएस की विचारधारा बताया, जहां सत्य की जगह सत्ता को प्राथमिकता दी जाती है। उन्होंने उसके विपरीत महात्मा गांधी के विचारों को रखा, जो सत्य को सर्वोच्च मानते थे। राहुल ने कहा कि देश में सत्य और असत्य की लड़ाई चल रही है, और भारतीय धर्मों में भी सत्य को सबसे ऊपर रखा जाता है। 

सत्य और असत्य की लड़ाई

तीसरे, उन्होंने कांग्रेस के डीएनए में सत्य होने का दावा किया, जबकि बीजेपी के डीएनए में असत्य और वोट चोरी शामिल है। राहुल ने कहा कि वोट चोरी संविधान पर हमला है, जो डॉ. आंबेडकर की देन है। उन्होंने नोटबंदी और जीएसटी जैसी नीतियों का जिक्र किया, जो छोटे व्यापारियों को तबाह कर रही हैं और इसका कारण वोट चोरी को बताया। अगर वोट चोरी न होती, तो बीजेपी सरकार पांच मिनट में गिर जाती।

 

राहुल ने विभिन्न राज्यों में कथित वोट चोरी के उदाहरण दिए। उन्होंने कहा कि कर्नाटक में लाखों वोट डिलीट कर दिए गए, जबकि महाराष्ट्र में अतिरिक्त वोट जोड़े गए। चुनाव आयोग ने इन पर कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया। हरियाणा में भी चुनाव चोरी हुई, जहां ब्राजील की एक महिला ने 22 बार वोट डाला और यूपी के लोग वहां वोट करने आए। 

 

राहुल ने एक घर में 600-700 लोगों के रजिस्ट्रेशन का उदाहरण दिया और पूछा कि एक महिला 200 बार वोट कैसे दे सकती है। उन्होंने संसद में अमित शाह के कांपते हाथों का जिक्र किया और उन्हें प्रेस कॉन्फ्रेंस में बहस की चुनौती दी। राहुल ने कहा कि जैसे ही सत्ता इनके हाथ से जाएगी, इनकी बहादुरी भी चली जाएगी, क्योंकि ये सिर्फ दो-तीन अरबपतियों के लिए काम करते हैं। उन्होंने चुनाव के समय 10 हजार रुपये बांटने का भी आरोप लगाया।

 

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खड़गे बोले- बीजेपी सिर्फ प्रचार करती है

रैली के दौरान कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरकार की नीतियों और विचारधारा पर कड़ी आलोचना की। उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार ने राष्ट्र गीत 'वंदे मातरम' तक को अपने हितों के लिए इस्तेमाल किया है। खड़गे ने कहा कि बीजेपी नेता स्वतंत्रता संग्राम के नायकों जैसे जवाहरलाल नेहरू और सरदार पटेल के बीच फूट डालने की कोशिश कर रहे हैं, साथ ही महात्मा गांधी, नेहरू और डॉ. बीआर अंबेडकर पर लगातार हमले बोलते हैं। उन्होंने समर्थकों से अपील की कि इन 'गद्दारों' को सत्ता से हटाने का समय आ गया है। खड़गे ने आगे जोड़ा कि बीजेपी हर मुद्दे पर सिर्फ प्रचार करती है, लेकिन वास्तव में गरीबों और आम जनता की परवाह नहीं करती। उन्होंने संसद में प्रधानमंत्री की अनुपस्थिति का जिक्र किया और कहा कि मोदी संसद सत्र के दौरान बाहर घूमते रहते हैं, लेकिन राहुल गांधी के सवालों का जवाब देने से कतराते हैं।

 

पार्टी की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने भी मंच से अपनी बात रखी, जिसमें उन्होंने न्यायपालिका, मीडिया और विपक्षी नेताओं पर दबाव का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि आजकल न्यायालयों पर सरकारी दबाव साफ नजर आता है, जबकि अधिकांश मीडिया घराने अंबानी और अडाणी जैसे उद्योगपतियों के नियंत्रण में हैं। प्रियंका ने आरोप लगाया कि कांग्रेस के कई नेताओं को फर्जी मामलों में फंसाकर जेल में डाला गया, लेकिन जो लोग बीजेपी में शामिल हो जाते हैं, उन्हें पार्टी की 'वॉशिंग मशीन' से साफ कर दिया जाता है। 

 

उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी की आलोचना करते हुए कहा कि वे विश्व के बड़े नेताओं के साथ फोटो खिंचवाते हैं, लेकिन जनता के दुख-दर्द में कभी साथ नहीं खड़े होते। प्रियंका ने बेटिंग ऐप्स का जिक्र किया, दावा किया कि प्रधानमंत्री कार्यालय के अधिकारी ऐसे ऐप्स चला रहे हैं, लेकिन इस पर कोई चर्चा नहीं होती। उन्होंने रैली में उपस्थित लोगों से कहा कि वोट का अधिकार सबसे महत्वपूर्ण है और इसे छीना जा रहा है। कांग्रेस की शक्ति ने देश को आजादी दिलाई है, और अब वे जनता के वोट और अधिकारों की रक्षा करेंगे, कभी झुकेंगे नहीं।

BJP ने दी प्रतिक्रिया

बीजेपी ने इस रैली पर तुरंत प्रतिक्रिया दी। पार्टी ने अपने आधिकारिक X हैंडल पर एक पोस्ट साझा किया, जिसमें राहुल गांधी पर तंज कसते हुए कहा गया कि वे घुसपैठियों की सेवा में लगे रहें, जबकि बीजेपी देश की जनता की सेवा करती रहेगी। बीजेपी प्रवक्ता अमित मालवीय ने कहा कि राहुल गांधी हारने पर ईवीएम और वोट चोरी पर सवाल उठाते हैं, लेकिन जीतने पर वही प्रक्रिया स्वीकार कर लेते हैं। बिना सबूत के चुनाव नतीजों पर संदेह पैदा करना गलत है, जो लोकतंत्र और जनता के विश्वास को कमजोर करता है।

 

कांग्रेस महासचिव (संगठन) केसी वेणुगोपाल ने रैली के बाद बताया कि 'वोट चोरी' के खिलाफ देशभर से करीब 55 लाख हस्ताक्षर जुटाए गए हैं। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी ने सबूतों के साथ इस मुद्दे को उठाया है, और अब राष्ट्रपति से मिलकर ज्ञापन सौंपने का अनुरोध किया जाएगा। खड़गे ने भी मोदी सरकार की हार की भविष्यवाणी की, कहा कि अगर हम सब मिलकर काम करें, तो मोदी कहीं नजर नहीं आएंगे।

 

उन्होंने अपनी व्यक्तिगत कहानी साझा की, जहां राहुल ने उनसे बैंगलोर जाने के बारे में पूछा, लेकिन खड़गे ने रैली को प्राथमिकता दी, भले ही उनके बेटे का ऑपरेशन था। उन्होंने कहा कि इंदिरा गांधी, राजीव गांधी और सोनिया गांधी ने देश के लिए त्याग किया है, तो वे बेटे के लिए लड़ाई नहीं छोड़ सकते। अगर बेटे को कुछ हो भी जाए, तो कोई बात नहीं, लेकिन देश के लोगों को सुरक्षित रखना जरूरी है।

 

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प्रियंका ने बैलट पेपर का समर्थन किया

प्रियंका ने बिहार में 65 लाख वोट काटे जाने का दावा किया और कहा कि अगर बैलट पेपर से चुनाव हो, तो बीजेपी एक भी नहीं जीत पाएगी। उन्होंने हरियाणा, कर्नाटक और यूपी में वोट चोरी के उदाहरण दिए, जहां आचार संहिता के दौरान पैसे बांटे गए। प्रियंका ने कहा कि संसद में बीजेपी का आत्मविश्वास घट रहा है और अब उन्हें चुनाव आयोग की जरूरत है। पूरा विपक्ष चुनाव प्रक्रिया पर संदेह जता रहा है। उन्होंने डॉलर के 90 रुपये होने का जिक्र किया, और कहा कि जब डॉलर 60 रुपये था, तो मोदी रोते थे, लेकिन अब सरकार हर मुद्दे पर विफल है।

 

खड़गे ने आरएसएस-बीजेपी की विचारधारा को खतरनाक बताया, जो गरीबों के लिए सबसे बड़ा खतरा है। उन्होंने कहा कि संविधान ने वोट का अधिकार दिया है, अगर वह चला गया तो जनता क्या करेगी। सरकार अमीरों के लिए काम करती है, गरीबों के बारे में नहीं सोचती। 

 

राहुल ने फिर दोहराया कि कांग्रेस सत्य के साथ मोदी, शाह और आरएसएस की सरकार को हटाएगी। उन्होंने सत्य-अहिंसा के रास्ते पर चलने की बात की, न कि नफरत या हिंसा से।


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