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PM मोदी के लिए बनी 'नकली यमुना'? AAP के आरोप और BJP के दावे; पूरी कहानी

छठ पर्व के बीच दिल्ली में यमुना को लेकर सियासत तेज हो गई है। अब आम आदमी पार्टी ने पीएम मोदी के लिए 'नकली यमुना' बनाने का आरोप लगाया है। बीजेपी ने इन्हें खारिज कर दिया है। क्या है पूरा मामला? समझते हैं।

yamuna river

यमुना नदी। (Photo Credit: PTI)

छठ का त्योहार चल रहा है और दिल्ली में यमुना नदी की सफाई को लेकर सियासत भी खूब हो रही है। रेखा गुप्ता वाली बीजेपी सरकार यमुना साफ होने का दावा कर रही है। वहीं, आम आदमी पार्टी आरोप लगा रही है कि यमुना साफ नहीं हुई है। अब आम आदमी पार्टी ने बीजेपी सरकार पर एक नया आरोप लगाया है। आरोप है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लिए दिल्ली में 'नकली यमुना' बना दी गई। इसमें फिल्टर किया हुआ पानी डाला गया है, जिसमें पीएम मोदी डुबकी लगाएंगे। वहीं, बीजेपी ने इन सब आरोपों को खारिज कर दिया है।


दरअसल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार को दिल्ली के वासुदेव घाट पर छठ पर्व मनाएंगे। बताया जा रहा है कि यह पहली बार है जब कोई प्रधानमंत्री छठ का त्योहार मनाएगा। हालांकि, विपक्ष आरोप लगा रहा है कि बिहार चुनाव में पूर्वांचलियों को साधने के लिए ऐसा किया जा रहा है। मगर इन सबके बीच 'नकली यमुना' को लेकर अब बीजेपी और आम आदमी पार्टी में घमासान शुरू हो गया है।


आम आदमी पार्टी के नेता और पूर्व विधायक सौरभ भारद्वाज ने प्रधानमंत्री मोदी के लिए फिल्टर्ड पानी से 'नकली' यमुना घाट बनाने का आरोप लगाया है। वहीं, बीजेपी ने पलटवार करते हुए इन आरोपों को 'राजनीतिक कुंठा का शर्मनाक मॉडल' बताया है।

 

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AAP ने क्या आरोप लगाए हैं?

सौरभ भारद्वाज ने रविवार को X पर एक वीडियो पोस्ट किया है, जिसमें उन्होंने 'नकली यमुना' बनाने का आरोप लगाया है। इसके बाद उन्होंने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की, जिसमें आरोप लगाया कि बीजेपी भक्तों को ठग रही है और पूर्वांचलियों की जान से खेल रही है।


उन्होंने X पर एक वीडियो पोस्ट किया है, जिसमें उन्होंने कथित तौर पर 'नकली यमुना' दिखाई है। इसे पोस्ट करते हुए उन्होंने लिखा, 'फर्जीवाड़े के सभी रिकॉर्ड टूटे। PM के लिए 'फिल्टर पानी' वाली 'नकली यमुना' बनाई गई है। मगर दिल्ली के गरीब पूर्वांचली लोगों के लिए प्रदूषित मल युक्त यमुना है।'

 

 

उन्होंने बाद में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, 'बिहार में सत्ता हथियाने की हताश कोशिश में, बीजेपी दिल्ली के लाखों पूर्वांचलियों की जान से खेल रही है। वासुदेव घाट पर पीएम मोदी के लिए फिल्टर्ड पानी से भरा नकली यमुना घाट बनाया गया है, जबकि भक्तों को प्रदूषित नदी में खड़ा होना पड़ता है।'


सौरभ भारद्वाज ने दावा किया कि घाट के लिए पानी वजीराबाद वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से लाया गया है, जहां से दिल्ली वालों को पीने का पानी सप्लाई किया जाता है।

 

 

उन्होंने दावा किया कि दिल्ली के जल मंत्री परवेश वर्मा अब यमुना में वही केमिकल छिड़क रहे हैं जिसके लिए उन्होंने पहले हमारी सरकार को गाली दी थी और अधिकारियों से बदसलूकी की थी। उन्होंने कहा, 'बीजेपी एक झूठ छिपाने के लिए हजार झूठ बोल रही है। इसका ड्रामा मतदाताओं को ठगने और यह सच्चाई छिपाने के लिए है कि यमुना खतरनाक रूप से विषैली बनी हुई है।'


उन्होंने कहा, 'दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति मानती है कि यमुना का पानी गंभीर बीमारियां पैदा कर सकता है, फिर भी भाजपा नेता फोटोशॉप में व्यस्त हैं और झाग हटाने के लिए केमिकल छिड़क रहे हैं।'

 

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आम आदमी पार्टी हुई हमलावर

सौरभ भारद्वाज के दावे के बाद आम आदमी पार्टी पूरी तरह से बीजेपी सरकार पर हमलावर हो गई है। उनके वीडियो को आम आदमी पार्टी के कई नेताओं ने शेयर किया है और बीजेपी पर निशाने साध रहे हैं।


आम आदमी पार्टी के संयोजक और पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भारद्वाज के वीडियो को शेयर करते हुए लिखा, 'बीजेपी ने दिल्ली में छठ पर्व की आस्था का भी मजाक बना दिया है।'

 

 

पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने इस वीडियो को साझा करते हुए लिखा, 'बीजेपी ने दिल्ली में छठ व्रतियों की आस्था से खिलवाड़ कर उनकी श्रद्धा और विश्वास को ठेस पहुंचाई है।'

 

 

पूर्व मुख्यमंत्री आतिशी ने भी इस वीडियो को शेयर किया। उन्होंने कहा, 'यमुना मां में आस्था रखने वाले करोड़ों श्रद्धालुओं के साथ खुला धोखा किया जा रहा है। छठ जैसे पवित्र पर्व पर श्रद्धालु तो प्रदूषित पानी में पूजा करने को मजबूर हैं जबकि प्रधानमंत्री और बीजेपी नेताओं के लिए फिल्टर पानी वाला एक अलग घाट तैयार किया गया है। ये सिर्फ भेदभाव ही नहीं, बल्कि दिल्ली की जनता और छठ की आस्था का अपमान है।'

 

इस वीडियो पर सौरभ भारद्वाज ने बाद में कहा कि यह वीडियो कॉपीराइट फ्री है और इसे बेझिझक इस्तेमाल कर सकते हैं।

 

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बीजेपी का क्या है कहना?

बीजेपी ने आम आदमी पार्टी के इन सभी आरोपों को खारिज कर दिया है और 'राजनीतिक कुंठा का शर्मनाक मॉडल' बताया है।


दिल्ली बीजेपी के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा, 'आज दिल्ली और पूरे देश के लोगों ने आम आदमी पार्टी की राजनीतिक कुंठा का शर्मनाक मॉडल देखा। लोगों ने देखा कि आम आदमी पार्टी के नेता सौरभ भारद्वाज यमुना तट पर प्राकृतिक वासुदेव घाट की सफाई और वहां साफ पानी उपलब्ध कराने पर आपत्ति जता रहे हैं।'


उन्होंने कहा, 'राजनीतिक क्षेत्र में जो लोग काम कर रहे हैं, उन्हें मानसिक रूप से तैयार रहना चाहिए कि किसी भी तरह की स्थिति के लिए तैयार रहना चाहिए। लेकिन एक हार किसी की मानसिक स्थिति कितनी बिगाड़ सकती है, वह अरविंद केजरीवाल और उनके नेताओं की बात से समझ आती है। हार को स्वीकार करना चाहिए लेकिन निराशा और कुंठा में ऐसी भाषा का इस्तेमाल करते हैं।'

 

 

उन्होंने कहा, 'मैं सौरभ भारद्वाज को एक बात याद दिलाना चाहता हूं कि 11 साल तुम लोग रहे। दिल्ली को लूटने में, बर्बाद करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। तुम्हारी आंखों का पानी सूख चुका है। कोविड का एक साल छोड़ दें तो बाकी सालों में लाखों पूर्वांचली भाई-बहन यमुना में छठ का त्योहार नहीं मना सकते थे। मेरे इस सवाल का जवाब दे दो। हमारी 8 महीने की सरकार का हिसाब मांग रहे हैं। आपके राजनीतिक आका 6 हजार करोड़ यमुना की सफाई में पी गए। हम प्रयास कर रहे हैं। हमारी सरकार ने इतना तो कर दिया कि यमुना के घाट पर पूजा कर सकते हैं।'


वीरेंद्र सचदेवा ने आरोप लगाया कि पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने छठ पूजा पर प्रतिबंध लगा दिया था। अब रेखा गुप्ता की सरकार ने सिर्फ 8 महीने में यमुना की बुनियादी सफाई पूरी कर ली है और भक्तों को छठ पूजा के लिए प्राकृतिक घाट उपलब्ध करा दिए हैं तो वे हंगामा मच रहे हैं।

 

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क्या वाकई साफ हो गई है यमुना?

दिल्ली सरकार तो यही दावा कर रही है। दिल्ली सरकार में जल मंत्री परवेश वर्मा और पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने शनिवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर दावा किया था कि छठ से पहले यमुना नदी के पानी की गुणवत्ता पिछले साल से बेहतर है।


परवेश वर्मा ने कहा था कि दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति ने 9 और 20 अक्टूबर को पल्ला, वजीराबाद बैराज, ओखला बैराज, आईटीओ और यमुना नहर सहित आठ स्थानों से यमुना नदी के पानी के नमूने एकत्र किए। उन्होंने बताया कि इस साल निजामुद्दीन में यमुना में 'फेकल कोलीफॉर्म बैक्टीरिया' की सांद्रता घटकर 7,900 यूनिट प्रति 100 मिलीलीटर रह गई है जबकि पिछले साल यह 11 लाख यूनिट प्रति 100 मिलीलीटर थी। इसी तरह पल्ला में यह संख्या 920 से घटकर 600, वजीराबाद में 16,000 से घटकर 800 और आईटीओ में 35,000 से घटकर 7,000 रह गई।

 

 

वर्मा ने बताया कि आईएसबीटी से लिए गए पानी के नमूनों में भी सुधार देखा गया है और इस साल बैक्टीरिया की संख्या घटकर 8,000 रह गई है, जो 2024 में 28,000 थी। उन्होंने बताया कि 'फेकल कोलीफॉर्म बैक्टीरिया' की सांद्रता ओखला में 18 लाख से घटकर 2,700 और आगरा नहर में 22 लाख से घटकर 1,600 रह गई है।

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