उत्तर प्रदेश राज्य कर विभाग में तैनात एक IAS अधिकारी के खिलाफ दायर एक शिकायत पत्र में यौन उत्पीड़न और भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप सामने आए हैं। यूपी में एक महिला अधिकारी 5 लाख रुपये के आरोप में घिरी थी, उसे निलंबित करने का डर दिखाकर उसके साथ दुष्कर्म किया गया है। महिला अफसर को 3 दिन तक फाइव स्टार होटल में रखा गया, नौकरी बचाने के नाम पर उसका यौन शोषण किया गया।
शिकायत पत्र में मांग की गई है कि होटल का सीसीटीवी फुटेज निकाला जाए, जिससे इस वारदात की सच्चाई सामने आ सके। महिला अफसरों ने डर की वजह से एक 4 पेज का पत्र जारी किया है। इसमें किसी का नाम नहीं लिखा है। जिस अधिकारी के खिलाफ चिट्ठी लिखी गई है, उसकी पोस्टिंग नोएडा में ही है।
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कैसे महिला अधिकारी निशाने पर आई?
गाजियाबाद में एक महिला राज्य कर अधिकारी खिलाफ एक शख्स ने शिकायत दर्ज कराई थी। एक कबाड़ गाड़ी के साथ एक IAS अधिकारी को उनके प्राइवेट फोन नंबर पर ऑडियो-वीडियो क्लिप के साथ सबूत दिए गए। वीडियो में महिला राज्य कर अधिकारी गाड़ी को रिलीज करने के लिए कथित तौर पर 5 लाख रुपये की मांग कर रही है। विभागीय नियमों के मुताबिक इस प्रकरण की जांच गाजियाबाद में तैनात चार संयुक्त कमिश्मरों को दी जानी चाहिए लेकिन गौतम बुद्ध नगर के एक अधिकारी को जांच के लिए नियुक्त कर दिया गया।
'निलंबन रोकने के लिए यौन उत्पीड़न'
अब जांच करने वाले अधिकारी पर आरोप लगे हैं कि उसने रिश्वत के आरोपों से बरी करने और निलंबन रोकने के लिए महिला अधिकारी का शोषण किया है। नोएडा के फाइव स्टार होटल में 3 दिन के लिए कमरे की बुकिंग की गई है। शिकायत में कहा गया है कि होटल के रिकॉर्ड और सीसीटीवी फुटेज से इसकी सच्चाई जानी जा सकती है।
अधिकारी पर और क्या आरोप लगे हैं?
जिस IAS अपर आयुक्त पर यौन शोषण के आरोप लगे हैं, वह महिला अधिकारियों को कथित तौर पर रात 9 बजे के बाद भी कार्यालय में रहने के लिए मजबूर करते हैं। कुछ अधिकारियों को 11 बजे तक दफ्तर में रहने के लिए मजबूर किया जाता है। यह भी आरोप लगाए गए हैं कि टैक्स चोरों को बचाने के लिए वह अधिकारियों को फंसाकर रखते हैं।
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अब सेक्टर-148 नोएडा के कार्यालय कैंपस में लगे सीसीटीवी कैमरों की जांच कराने की मांग कराई गई है। अधिकारी के खिलाफ यह भी शिकायत की गई है कि वह लोगों को गाली देते हैं, अपमानजनक भाषा का प्रयोग करते हैं। यह भी आरोप है कि अपने आधीनस्थों के साथ दुर्व्यवहार करते हैं।
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'महिला अधिकारियों को घूरते हैं, जबरन कमरे में बैठाते हैं'
अधिकारी पर सिविल सेवा आचरण नियमों के विरुद्ध काम करने के आरोप हैं। अधिकारी महिला अधिकारियों को धमकाते और डराते हैं, जो उनका आदेश मानने से इनकार कर देती हैं। कभी किसी को धमकी देते हैं कि निलंबित कर देंगे, कभी जबरन छुट्टी या स्थानांतरण पर भेजने की बात कह देते हैं। शिकायत पत्र में अधिकारी के खिलाफ जांच तेज करने की मांग की गई है।
महिलाओं ने यह भी आरोप लगाया है, 'यह अधिकारी महिला अधिकारियों को घंटों तक अपने कार्यालय में बैठाकर घूमते हैं, धमकी देते हैं, रातभर महिला अधिकारियों को फोन करते हैं, वीडियो कॉल करते हैं, लोगों को घूरते हैं, उनके वीडियो बनाते हैं।'